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ऊधमसिंहनगर 12 अगस्त 2025 – (समय बोल रहा ) – ऊधमसिंहनगर जिले में ब्लॉक प्रमुख चुनाव को लेकर राजनीतिक सरगर्मियां तेज हो गई हैं। इसी क्रम में एक नगर पालिका अध्यक्ष गुरजीत सिंह गित्ते ने एक महत्वपूर्ण मांग उठाते हुए आगामी 14 अगस्त को होने वाले ब्लॉक प्रमुख चुनाव को कैमरे की निगरानी में कराने की अपील की है। उन्होंने अपनी मांग के पीछे चंडीगढ़ मेयर चुनाव में हुई कथित धांधली का हवाला दिया, जिसमें भाजपा पर वोटों की चोरी का आरोप लगा था। चंडीगढ़ चुनाव का दिया हवाला गुरजीत सिंह गित्ते ने अपने कार्यालय में आयोजित प्रेस वार्ता में कहा कि चुनाव में पारदर्शिता और निष्पक्षता बनाए रखना लोकतंत्र के लिए बहुत जरूरी है। उन्होंने हाल ही में हुए चंडीगढ़ निकाय चुनाव का जिक्र करते हुए कहा कि वहां भाजपा ने सरेआम वोटों की चोरी करते हुए अपना मेयर बना लिया था। उन्होंने आशंका जताई कि ब्लॉक प्रमुख चुनाव में भी इस तरह की घटनाएँ हो सकती हैं, इसलिए मतदान प्रक्रिया की वीडियोग्राफी कराना और कैमरे की निगरानी में चुनाव कराना अनिवार्य है। समर्थकों ने भी उठाई आवाज प्रेस वार्ता के दौरान नगर पालिका अध्यक्ष के साथ कई सभासद और अन्य समर्थक भी मौजूद थे, जिन्होंने उनकी मांग का समर्थन किया। इनमें सभासद जगतजीत सिंह, सुनील कुमार, आदित्य चानना, सिंह स्वरूप भारती, राजदीप तिवारी, मो. हनीफ, नत्था सिंह धवन, साबिर हुसैन, वाजिद अली, विवेक पाण्डेय आदि शामिल थे। इन सभी ने एक स्वर में कहा कि चुनाव प्रक्रिया में किसी भी तरह की धांधली की कोई गुंजाइश नहीं होनी चाहिए, और इसके लिए सीसीटीवी कैमरे सबसे बेहतर समाधान हैं। निष्पक्ष चुनाव के लिए जरूरी है निगरानी गिते ने कहा कि कैमरे की निगरानी से न केवल वोटों की चोरी जैसी घटनाओं को रोका जा सकेगा, बल्कि यह प्रत्याशियों और मतदाताओं के बीच भी विश्वास पैदा करेगा। उन्होंने कहा कि चुनाव प्रक्रिया पर सवाल उठने से लोकतंत्र कमजोर होता है, इसलिए प्रशासन को इस मांग को गंभीरता से लेना चाहिए। यह मांग ऐसे समय में आई है जब पूरा जिला ब्लॉक प्रमुख चुनावों की तैयारियों में जुटा हुआ है और प्रशासन पहले ही मतदान और मतगणना स्थलों पर सुरक्षा के कड़े इंतजाम करने की बात कह चुका है। अब देखना यह है कि गुरजीत सिंह गित्ते की इस मांग पर जिला प्रशासन क्या कदम उठाता है। यह मुद्दा अब ब्लॉक प्रमुख चुनाव में एक नई बहस को जन्म दे सकता है।

ऊधमसिंहनगर में जिला पंचायत-ब्लॉक प्रमुख चुनाव की तैयारी तेज: 11 अगस्त को नामांकन, 14 को मतदान; डीएम ने आरओ-एआरओ को दिया सख्त प्रशिक्षण

रूद्रपुर, 08 अगस्त 2025 – (समय बोल रहा) – ऊधमसिंहनगर में आगामी जिला पंचायत अध्यक्ष, उपाध्यक्ष और ब्लॉक प्रमुख, ज्येष्ठ व कनिष्ठ उप प्रमुख के चुनावों को स्वतंत्र, निष्पक्ष और पारदर्शी ढंग से संपन्न कराने के लिए जिला प्रशासन ने कमर कस ली है। इसी कड़ी में आज जिला सभागार में आरओ (रिटर्निंग ऑफिसर) और…

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उत्तरकाशी, 06 अगस्त 2025 – (समय बोल रहा) – उत्तराखंड के उत्तरकाशी में आई भीषण बाढ़ के बाद 'ऑपरेशन जिंदगी' युद्धस्तर पर जारी है। इस भयावह प्राकृतिक आपदा ने पूरे राज्य को झकझोर कर रख दिया है, और बचाव दल लगातार लोगों को सुरक्षित निकालने के लिए संघर्ष कर रहे हैं। अब तक 274 लोगों को सुरक्षित बाहर निकाला जा चुका है, जबकि बड़ी संख्या में लोग अभी भी लापता हैं। लापता लोगों को तलाशने के लिए भारतीय सेना, आईटीबीपी (ITBP), एनडीआरएफ (NDRF) और एसडीआरएफ (SDRF) की टीमें लगातार खोज और बचाव कार्य में जुटी हुई हैं। इस आपदा का एक बेहद मार्मिक पहलू यह है कि लापता लोगों में वो 24 दोस्त भी शामिल हैं, जो करीब 35 साल बाद एक साथ मिलकर 'चार धाम यात्रा' पर निकले थे। 35 साल बाद मिले दोस्तों पर आपदा का कहर यह कहानी है 1990 बैच के उन 24 दोस्तों की, जिन्होंने अपनी दसवीं कक्षा के बाद पहली बार मिलकर उत्तराखंड आने का फैसला किया था। इनमें से एक, आवासारी खुर्द निवासी अशोक भोर के बेटे आदित्य ने बताया कि उनके पिता और उनके 23 दोस्त 35 साल बाद 'चार धाम यात्रा' के लिए एक साथ मिले थे। ये लोग 1 अगस्त को मुंबई से ट्रेन पकड़कर निकले थे और इनकी वापसी 12 अगस्त को फ्लाइट से होनी थी। अशोक भोर के परिवार से आखिरी बार सोमवार शाम करीब 7 बजे बात हुई थी। उस समय वे सभी गंगोत्री से लगभग 10 किलोमीटर दूर थे और एक छोटे भूस्खलन के कारण फंसे हुए थे। आदित्य ने बताया कि अब उनके फोन भी नहीं मिल रहे हैं, जिससे संपर्क पूरी तरह टूट गया है। ये सभी 5 अगस्त को उत्तरकाशी में रुककर अगले दिन गौरीकुंड जाने वाले थे। उन्होंने यात्रा के लिए हरिद्वार से एक बस बुक की थी। उनके बैचमेट मल्हारी अभंग ने बताया कि उन्होंने आखिरी बार सोमवार दोपहर को उनसे वीडियो कॉल पर बात की थी। महाराष्ट्र के 149 पर्यटक फंसे, 75 के फोन बंद आपदा में फंसे पर्यटकों की संख्या भी काफी अधिक है। राज्य आपदा प्रबंधन विभाग के अनुसार, उत्तराखंड में महाराष्ट्र के कम से कम 149 पर्यटक फंसे हुए हैं। इन पर्यटकों में से 76 मुंबई से, 17 छत्रपति संभाजीनगर से, 15 पुणे से, 13 जलगाँव से, 11 नांदेड़ से, पांच ठाणे से, नासिक और सोलापुर से चार-चार, मालेगाँव से तीन और अहिल्य से एक पर्यटक है। मुंबई के लगभग 61 पर्यटक सुरक्षित रूप से हनुमान आश्रम में हैं। हालांकि, इन 149 पर्यटकों में से करीब 75 के फोन अभी भी बंद हैं और उनका नेटवर्क से बाहर होना चिंता का विषय बना हुआ है। महाराष्ट्र प्रशासन लगातार उत्तराखंड प्रशासन के संपर्क में है और फंसे हुए लोगों की सुरक्षित वापसी के लिए प्रयास कर रहा है। एसडीआरएफ का बयान: मलबे में दबे हो सकते हैं लापता लोग राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ) के महानिरीक्षक, अरुण मोहन जोशी ने बचाव कार्य में आ रही चुनौतियों के बारे में बताया। उन्होंने कहा कि उनकी प्राथमिकता आज उन्नत उपकरणों को हवाई मार्ग के जरिए मौके पर पहुंचाना है। उन्नत उपकरणों के साथ आ रही उनकी टीम बुधवार को सड़कों के अवरुद्ध होने के कारण आगे नहीं बढ़ सकी। उन्होंने बताया कि धराली में 50 से 60 फुट ऊंचा मलबे का ढेर है और इस आपदा में लापता हुए लोग उसी मलबे के नीचे फंसे हो सकते हैं। जोशी ने कहा कि उन्नत उपकरण विशाल मलबे में लापता लोगों की तलाश करने में बचाव कर्मियों की मदद करेंगे। 300-400 श्रद्धालु फंसे, मजदूरों के भी लापता होने की आशंका अरुण मोहन जोशी ने बताया कि उनकी दूसरी प्राथमिकता अवरुद्ध मार्गों के कारण विभिन्न स्थानों पर फंसे श्रद्धालुओं को बाहर निकालना है। उन्होंने अनुमान लगाया कि इन फंसे हुए लोगों की संख्या 300-400 हो सकती है। अधिकारियों ने बताया कि सुबह 10 बजे तक 61 लोगों को हेलीकॉप्टर से आईटीबीपी मातली लाया जा चुका है। बाहर निकाले गए लोगों को उनके गंतव्य तक भेजने के लिए प्रबंध भी किए जा रहे हैं। लापता लोगों में केवल पर्यटक ही नहीं, बल्कि मजदूर भी हो सकते हैं, क्योंकि बाढ़ आने के समय धराली में कई होटल निर्माणाधीन थे और सेब के बागानों में भी मजदूर काम कर रहे थे। प्रशासन का कहना है कि बचाव कार्य युद्धस्तर पर जारी है और हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं ताकि जल्द से जल्द सभी लापता लोगों को ढूंढा जा सके और फंसे हुए लोगों को सुरक्षित बाहर निकाला जा सके।

उत्तरकाशी में भीषण बाढ़: 274 लोग बचाए गए, 35 साल बाद मिले 24 दोस्तों का ग्रुप लापता; ‘ऑपरेशन जिंदगी’ जारी

उत्तरकाशी, 07 अगस्त 2025 – (समय बोल रहा) – उत्तराखंड के उत्तरकाशी में आई भीषण बाढ़ के बाद ‘ऑपरेशन जिंदगी’ युद्धस्तर पर जारी है। इस भयावह प्राकृतिक आपदा ने पूरे राज्य को झकझोर कर रख दिया है, और बचाव दल लगातार लोगों को सुरक्षित निकालने के लिए संघर्ष कर रहे हैं। अब तक 274 लोगों…

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ऊधमसिंहनगर, 13 अगस्त 2025 – (समय बोल रहा) – भारत मौसम विज्ञान विभाग, देहरादून द्वारा जारी भारी बारिश की 'रेड अलर्ट' चेतावनी के बाद ऊधमसिंहनगर जिले में प्रशासन ने एक बड़ा और त्वरित फैसला लिया है। छात्र-छात्राओं और बच्चों की सुरक्षा को देखते हुए, जिलाधिकारी नितिन सिंह भदौरिया ने 14 अगस्त 2025 (गुरुवार) को जिले के कक्षा 1 से 12 तक के सभी सरकारी, निजी और सहायता प्राप्त विद्यालयों के साथ-साथ समस्त आंगनबाड़ी केंद्रों को बंद रखने का आदेश जारी किया है। यह फैसला आपदा प्रबंधन अधिनियम-2005 के तहत लिया गया है, जिसमें चेतावनी का उल्लंघन करने वाले शिक्षण संस्थानों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की बात कही गई है। मौसम विभाग की 'रेड अलर्ट' और संभावित खतरे भारत मौसम विज्ञान विभाग, देहरादून ने आगामी दिनों के लिए एक गंभीर मौसम पूर्वानुमान जारी किया है। इस पूर्वानुमान के अनुसार, 13 अगस्त से 17 अगस्त 2025 तक उत्तराखंड के कई जिलों में औसत से अधिक वर्षा, तेज गर्जना और आकाशीय बिजली चमकने की प्रबल संभावना है। मौसम विभाग ने इस स्थिति को देखते हुए 'रेड अलर्ट' जारी किया है, जो एक गंभीर चेतावनी है। रेड अलर्ट का मतलब होता है कि मौसम की स्थिति बेहद खराब हो सकती है और जान-माल को बड़ा खतरा हो सकता है। पर्वतीय क्षेत्रों में लगातार हो रही वर्षा से मैदानी इलाकों की नदियों और नालों का जलस्तर बढ़ने की आशंका है। इसी खतरे को भांपते हुए प्रशासन ने यह सुरक्षात्मक कदम उठाया है। छात्रहित में लिया गया फैसला जिलाधिकारी और जनपद आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के अध्यक्ष नितिन सिंह भदौरिया द्वारा जारी किए गए आदेश में साफ तौर पर कहा गया है कि यह फैसला "छात्रहित एवं बाल्यहित" को ध्यान में रखकर लिया गया है। आदेश में स्पष्ट किया गया है कि लगातार हो रही बारिश से नदी-नालों का जलस्तर तेजी से बढ़ सकता है, जिससे बच्चों की आवाजाही में खतरा पैदा हो सकता है। यह सुनिश्चित करने के लिए कि कोई भी छात्र या बच्चा इस खराब मौसम में खतरे का सामना न करे, जिला प्रशासन ने एक दिन पहले ही सभी शिक्षण संस्थानों को बंद करने का निर्णय लिया है। यह कदम जिला प्रशासन की सतर्कता और आपदा की स्थिति से निपटने की तैयारी को भी दर्शाता है। किस पर लागू होगा यह आदेश? जिलाधिकारी द्वारा जारी यह आदेश जनपद ऊधमसिंहनगर के भीतर संचालित होने वाले सभी प्रकार के शिक्षण संस्थानों पर लागू होता है। इसमें निम्नलिखित शामिल हैं: समस्त राजकीय विद्यालय (Government Schools) परिषदीय विद्यालय (Council Schools) सहायता प्राप्त विद्यालय (Aided Schools) मान्यता प्राप्त निजी विद्यालय (Recognized Private Schools) समस्त आंगनबाड़ी केंद्र यह आदेश दिनांक 14 अगस्त 2025 (बृहस्पतिवार) के लिए प्रभावी रहेगा। आदेश में यह भी स्पष्ट किया गया है कि यदि कोई भी विद्यालय इस आदेश की अवहेलना करता हुआ पाया गया, तो उसके खिलाफ आपदा प्रबंधन अधिनियम-2005 के तहत कठोर दंडात्मक कार्यवाही की जाएगी। यह चेतावनी बताती है कि प्रशासन इस आदेश को लेकर कितना गंभीर है और नियमों का पालन न करने वालों को किसी भी तरह की ढील नहीं दी जाएगी। प्रशासनिक सतर्कता और तैयारियां जिलाधिकारी ने इस आदेश की प्रतिलिपि विभिन्न विभागों के अधिकारियों को भेजी है, जिससे यह पता चलता है कि पूरा प्रशासनिक अमला इस स्थिति को लेकर सतर्क है। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक, मुख्य विकास अधिकारी, मुख्य चिकित्साधिकारी, समस्त उपजिलाधिकारी, मुख्य शिक्षा अधिकारी और अन्य संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि वे इस आदेश का कड़ाई से अनुपालन सुनिश्चित करें। जिला सूचना अधिकारी को भी जनहित में इस आदेश का प्रिंट और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के माध्यम से प्रचार-प्रसार करने का निर्देश दिया गया है, ताकि यह सूचना सभी तक समय पर पहुंच सके। यह कदम सुनिश्चित करता है कि कोई भी व्यक्ति इस आदेश से अनभिज्ञ न रहे और सभी अपनी सुरक्षा के लिए आवश्यक कदम उठा सकें। निष्कर्ष: आपदा से निपटने की तैयारी यह आदेश उत्तराखंड में मानसून के दौरान उत्पन्न होने वाली आपदाओं से निपटने के लिए प्रशासन की तैयारियों का एक स्पष्ट उदाहरण है। लगातार हो रही बारिश और मौसम विभाग के रेड अलर्ट के मद्देनजर, जिला प्रशासन द्वारा स्कूलों को बंद करने का यह फैसला न केवल एक एहतियाती कदम है, बल्कि यह बच्चों और आम जनता की सुरक्षा को सर्वोपरि रखने की प्रतिबद्धता भी दर्शाता है। इस फैसले से लाखों छात्र-छात्राओं और उनके अभिभावकों को राहत मिली है, जो खराब मौसम में बच्चों को स्कूल भेजने को लेकर चिंतित थे। अब सबकी नजरें मौसम के अगले पूर्वानुमान पर टिकी हैं कि क्या बारिश का दौर जारी रहता है या मौसम में सुधार आता है।

ऊधमसिंहनगर में मौसम का महा-अलर्ट! 7 अगस्त को सभी स्कूल-आंगनवाड़ी बंद, 6 से 10 अगस्त तक ‘रेड अलर्ट’ जारी; बच्चों की सुरक्षा के लिए डीएम का बड़ा फैसला

ऊधमसिंहनगर, 06 अगस्त 2025 – (समय बोल रहा ) – उत्तराखंड में मानसून का कहर जारी है और इसके मद्देनजर, ऊधमसिंहनगर जिला प्रशासन ने एक बार फिर बच्चों की सुरक्षा को प्राथमिकता देते हुए महत्वपूर्ण फैसला लिया है। भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD), देहरादून द्वारा जारी नवीनतम मौसम पूर्वानुमान के अनुसार, 6 अगस्त 2025 से…

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ऊधमसिंहनगर, 06 अगस्त 2025 – (समय बोल रहा ) – उत्तराखंड के ऊधमसिंहनगर जिले में मानसून पूरी तरह सक्रिय है। आज सुबह 8:30 बजे जारी दैनिक रिपोर्ट के अनुसार, जिले में भारी बारिश दर्ज की गई है। हालांकि, नदियों और जलाशयों का जलस्तर अभी सामान्य स्थिति में है, लेकिन भारी वर्षा के कारण जिले में बिजली आपूर्ति बाधित हुई है। प्रशासन ने पहले ही 6 अगस्त को स्कूलों और आंगनवाड़ी केंद्रों में अवकाश घोषित कर दिया था, जिससे बच्चों की सुरक्षा सुनिश्चित हो सकी। जिले में भारी बारिश का दौर, किच्छा और काशीपुर में सर्वाधिक वर्षा ऊधमसिंहनगर जिले में पिछले 24 घंटों के दौरान (सुबह 8:00 बजे तक) मूसलाधार बारिश हुई है। जिले भर में औसत से अधिक वर्षा दर्ज की गई, जिसमें कुछ क्षेत्रों में अत्यधिक बारिश हुई है। पिछले 24 घंटों की वर्षा (मिमी में): किच्छा: 185.00 मिमी (सर्वाधिक) काशीपुर: 177.00 मिमी जसपुर: 150.00 मिमी सितारगंज: 130.00 मिमी रुद्रपुर: 99.00 मिमी गदरपुर: 80.00 मिमी खटीमा: 86.00 मिमी बाजपुर: 75.00 मिमी (न्यूनतम) इस भारी बारिश के बावजूद, जिले का अधिकतम तापमान 29°C और न्यूनतम तापमान 25°C दर्ज किया गया है। नदियों और जलाशयों का जलस्तर सामान्य, लेकिन निगरानी जारी जिले से होकर बहने वाली प्रमुख नदियों और जलाशयों का जलस्तर अभी सामान्य स्थिति में है, जो एक राहत की बात है। हालांकि, लगातार बारिश को देखते हुए प्रशासन इन पर कड़ी निगरानी रख रहा है। प्रमुख नदियों का जलस्तर (क्यूसेक में): सुखी/बेगुल नदी: वर्तमान जलस्तर 13340 क्यूसेक (चेतावनी स्तर 30,000 क्यूसेक) कैलाश नदी: वर्तमान जलस्तर 19980 क्यूसेक (चेतावनी स्तर 45,000 क्यूसेक) जगबुधा नदी: वर्तमान जलस्तर 8400 क्यूसेक (चेतावनी स्तर 19,000 क्यूसेक) परवीन नदी: वर्तमान जलस्तर 1360 क्यूसेक (चेतावनी स्तर 2,000 क्यूसेक) देवहा नदी: वर्तमान जलस्तर 7310 क्यूसेक (चेतावनी स्तर 20,000 क्यूसेक) कामन नदी: वर्तमान जलस्तर 2560 क्यूसेक (चेतावनी स्तर 15,000 क्यूसेक) ढेला नदी: वर्तमान जलस्तर 3777 क्यूसेक (चेतावनी स्तर 38,000 क्यूसेक) फीका नदी: वर्तमान जलस्तर शून्य (चेतावनी स्तर 18,500 क्यूसेक) गौला नदी: वर्तमान जलस्तर 12409 क्यूसेक (चेतावनी स्तर 39,927 क्यूसेक) कल्याणी नदी: वर्तमान जलस्तर 300 क्यूसेक (चेतावनी स्तर 2000 क्यूसेक) सभी नदियों का जलस्तर चेतावनी और खतरे के स्तर से काफी नीचे है, जिससे फिलहाल बाढ़ का कोई खतरा नहीं है। मुख्य शारदा नहर: वर्तमान जलस्तर 10689 क्यूसेक (खतरे का स्तर 11,500 क्यूसेक) नहर की स्थिति भी सामान्य बनी हुई है। जलाशयों का विवरण (फीट में): बेगुल जलाशय: वर्तमान जलस्तर 679.13 फीट (चेतावनी स्तर 683.50 फीट), डिस्चार्ज 65 क्यूसेक। नानकसागर जलाशय: वर्तमान जलस्तर 695.80 फीट (चेतावनी स्तर 706.00 फीट), डिस्चार्ज शून्य। शारदा सागर बांध: वर्तमान जलस्तर 606.60 फीट (चेतावनी स्तर 625.00 फीट), डिस्चार्ज शून्य। बौर जलाशय: वर्तमान जलस्तर 782.40 फीट (चेतावनी स्तर 792.00 फीट), डिस्चार्ज शून्य। हरिपुरा जलाशय: वर्तमान जलस्तर 783.50 फीट (चेतावनी स्तर 792.00 फीट), डिस्चार्ज शून्य। तुमरिया जलाशय: वर्तमान जलस्तर 836.50 फीट (चेतावनी स्तर 857.00 फीट), डिस्चार्ज शून्य। धौरा जलाशय: वर्तमान जलस्तर 700.70 फीट (चेतावनी स्तर 710.00 फीट), डिस्चार्ज शून्य। सभी जलाशयों का जलस्तर भी चेतावनी या खतरे के निशान से नीचे है, और डाउनपास डिस्चार्ज भी नियंत्रित है। जनजीवन पर असर: बिजली आपूर्ति बाधित, अन्य सेवाएं सामान्य मॉनसून की सक्रियता के कारण जिले में कुछ सेवाएं प्रभावित हुई हैं। रिपोर्ट के अनुसार, जिले में भारी बारिश के कारण बिजली आपूर्ति बाधित है, जिससे कई क्षेत्रों में बिजली गुल होने की समस्या का सामना करना पड़ रहा है। हालांकि, सड़क संपर्क, संचार व्यवस्था और जलापूर्ति जैसी अन्य आवश्यक सेवाएं अभी भी सुचारु रूप से चल रही हैं। जिला प्रशासन ने पहले ही मौसम विभाग के 'ऑरेंज अलर्ट' को देखते हुए 6 अगस्त को सभी स्कूलों और आंगनवाड़ी केंद्रों में अवकाश घोषित कर दिया था, जिससे बच्चों को सुरक्षित रखा जा सका। प्रशासन ने नागरिकों से सतर्क रहने और अनावश्यक यात्रा से बचने की अपील की है। संबंधित विभाग किसी भी आपातकालीन स्थिति से निपटने के लिए तैयार हैं और स्थिति पर लगातार नजर रखी जा रही है।

ऊधमसिंहनगर में मानसून का कहर: किच्छा-काशीपुर में रिकॉर्ड तोड़ बारिश, बिजली गुल! जानें आपके शहर का हाल और नदियों का जलस्तर

ऊधमसिंहनगर, 06 अगस्त 2025 – (समय बोल रहा ) – उत्तराखंड के ऊधमसिंहनगर जिले में मानसून पूरी तरह सक्रिय है। आज सुबह 8:30 बजे जारी दैनिक रिपोर्ट के अनुसार, जिले में भारी बारिश दर्ज की गई है। हालांकि, नदियों और जलाशयों का जलस्तर अभी सामान्य स्थिति में है, लेकिन भारी वर्षा के कारण जिले में…

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ऊधमसिंहनगर, 05 अगस्त 2025 – (समय बोल रहा ) – उत्तराखंड में मानसून की सक्रियता लगातार जारी है और इसके मद्देनजर, ऊधमसिंहनगर जिला प्रशासन ने एक महत्वपूर्ण और एहतियाती फैसला लिया है। भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD), देहरादून द्वारा जारी मौसम पूर्वानुमान के अनुसार 5 अगस्त से 9 अगस्त 2025 तक प्रदेश के कई जनपदों में भारी बारिश और आकाशीय बिजली गिरने की संभावना व्यक्त की गई है। इस 'ऑरेंज अलर्ट' को देखते हुए, जिलाधिकारी/अध्यक्ष, जनपद आपदा प्रबंधन प्राधिकरण, नितिन सिंह भदौरिया ने 6 अगस्त 2025 (बुधवार) को जिले के सभी विद्यालयों (कक्षा 1 से 12 तक) और आंगनवाड़ी केंद्रों में अवकाश घोषित कर दिया है। यह निर्णय विशेष रूप से बच्चों की सुरक्षा को सुनिश्चित करने के लिए लिया गया है। मौसम की चेतावनी और एहतियाती कदम भारत मौसम विज्ञान विभाग, देहरादून ने आगामी चार दिनों के लिए भारी बारिश का अलर्ट जारी किया है। इस अवधि में पर्वतीय और मैदानी दोनों क्षेत्रों में औसत से अधिक वर्षा होने की संभावना है, जिससे नदियों, नालों और बरसाती गदेरों का जलस्तर तेजी से बढ़ सकता है। ऐसी स्थिति में, स्कूली बच्चों की आवाजाही जोखिम भरी हो सकती है, विशेषकर उन क्षेत्रों में जहां पानी का जमाव हो जाता है या रास्ते अवरुद्ध हो जाते हैं। जिलाधिकारी नितिन सिंह भदौरिया ने आपदा प्रबंधन अधिनियम-2005 की धारा-30 (2) में प्रदत्त शक्तियों का इस्तेमाल करते हुए यह आदेश जारी किया है। यह कदम दिखाता है कि जिला प्रशासन किसी भी संभावित प्राकृतिक आपदा से निपटने के लिए पूरी तरह से तैयार है और उसने जोखिम को कम करने के लिए सक्रियता से काम किया है। यह एक विवेकपूर्ण फैसला है क्योंकि एक दिन पहले ही छुट्टी घोषित करने से अभिभावकों और स्कूलों को आवश्यक तैयारी करने का पर्याप्त समय मिल जाता है। आदेश का विवरण: केवल एक दिन की छुट्टी आदेश में स्पष्ट रूप से कहा गया है कि दिनांक 6 अगस्त 2025 (बुधवार) को ऊधमसिंहनगर जिले के अंतर्गत कक्षा 1 से 12 तक संचालित होने वाले सभी राजकीय, परिषदीय, सहायता प्राप्त, मान्यता प्राप्त निजी विद्यालयों और समस्त आंगनवाड़ी केंद्रों में अवकाश रहेगा। यह ध्यान देने योग्य है कि मौसम विभाग ने 5 से 9 अगस्त तक अलर्ट जारी किया है, लेकिन प्रशासन ने अभी केवल 6 अगस्त के लिए ही अवकाश घोषित किया है। आगे की छुट्टी का फैसला मौसम की स्थिति की समीक्षा के बाद लिया जाएगा। यह एक लचीली और संवेदनशील रणनीति है ताकि अनावश्यक रूप से शैक्षिक गतिविधियों को बाधित न किया जाए। जिलाधिकारी ने समस्त तहसील और संबंधित विभागों को इस आदेश का कड़ाई से अनुपालन सुनिश्चित करने का निर्देश दिया है। उन्होंने यह भी चेतावनी दी है कि यदि कोई भी शिक्षण संस्थान इस आदेश की अवहेलना करता है तो आपदा प्रबंधन अधिनियम-2005 के तहत उसके विरुद्ध कठोर दंडात्मक कार्रवाई की जाएगी। यह चेतावनी बताती है कि प्रशासन इस मामले में किसी भी तरह की लापरवाही या ढिलाई को बर्दाश्त नहीं करेगा। आदेश की व्यापकता और जन जागरूकता का प्रयास इस आदेश को प्रभावी ढंग से लागू करने और आम जनता तक सूचना पहुँचाने के लिए जिला प्रशासन ने एक विस्तृत योजना बनाई है। आदेश की प्रतिलिपि विभिन्न उच्चाधिकारियों और विभागों को भेजी गई है, जिनमें सचिव, आपदा प्रबंधन; महानिदेशक, स्कूल शिक्षा; आयुक्त, कुमाऊं मंडल; वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक; मुख्य विकास अधिकारी; मुख्य चिकित्साधिकारी; समस्त उपजिलाधिकारी और समस्त खण्ड शिक्षा अधिकारी शामिल हैं। विशेष रूप से, जिला सूचना अधिकारी को यह निर्देश दिया गया है कि वे इस आदेश का जनहित में प्रिंट और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के माध्यम से निःशुल्क प्रचार-प्रसार सुनिश्चित करें। यह कदम यह सुनिश्चित करेगा कि जिले का हर नागरिक, विशेषकर अभिभावक, इस महत्वपूर्ण सूचना से अवगत हो सकें और अपने बच्चों की सुरक्षा सुनिश्चित कर सकें। यह न सिर्फ कानूनी बाध्यता है, बल्कि जनता को सुरक्षित रखने की एक नैतिक जिम्मेदारी भी है। निष्कर्ष और आगे की चुनौतियाँ डीएम द्वारा लिया गया यह फैसला न सिर्फ छात्रों की सुरक्षा के प्रति संवेदनशीलता दिखाता है, बल्कि यह भी साबित करता है कि प्राकृतिक आपदाओं से निपटने के लिए प्रशासन पूरी तरह से मुस्तैद है। लगातार बारिश और खराब मौसम की स्थिति में, स्कूल और आंगनवाड़ी केंद्रों को बंद रखने का निर्णय एक विवेकपूर्ण कदम है। यह उन अभिभावकों के लिए भी राहत की बात है, जिन्हें खराब मौसम में अपने बच्चों की सुरक्षा को लेकर चिंता होती है। यह आदेश सिर्फ एक दिन के लिए है, लेकिन यह इस बात की ओर भी संकेत करता है कि आने वाले दिनों में मौसम और भी खराब हो सकता है। इसलिए प्रशासन ने सभी संबंधित विभागों को सतर्क रहने और किसी भी आपातकालीन स्थिति से निपटने के लिए तैयार रहने के लिए कहा है। नागरिकों को भी सलाह दी गई है कि वे मौसम की जानकारी पर नजर रखें और बिना किसी जरूरी काम के घर से बाहर न निकलें। यह आदेश न केवल बच्चों की सुरक्षा के लिए एक ढाल का काम करेगा, बल्कि यह भी सुनिश्चित करेगा कि प्रशासनिक व्यवस्था किसी भी आपदा के लिए पूरी तरह से तैयार है।

ऊधमसिंहनगर में 6 अगस्त को सभी स्कूल-आंगनवाड़ी बंद, 5 से 9 अगस्त तक भारी बारिश का ऑरेंज अलर्ट जारी; डीएम का बच्चों की सुरक्षा पर जोर

ऊधमसिंहनगर, 05 अगस्त 2025 – (समय बोल रहा ) – उत्तराखंड में मानसून की सक्रियता लगातार जारी है और इसके मद्देनजर, ऊधमसिंहनगर जिला प्रशासन ने एक महत्वपूर्ण और एहतियाती फैसला लिया है। भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD), देहरादून द्वारा जारी मौसम पूर्वानुमान के अनुसार 5 अगस्त से 9 अगस्त 2025 तक प्रदेश के कई जनपदों…

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काशीपुर, 12 सितंबर 2025 - (समय बोल रहा ) - उत्तराखंड को 'नशा मुक्त देवभूमि' बनाने के अभियान के तहत, काशीपुर कोतवाली पुलिस ने एक बड़ी सफलता हासिल की है। देर रात गश्त के दौरान पुलिस ने अल्ली खां मोहल्ले के एक युवक को गिरफ्तार किया है, जिसके पास से 8.25 ग्राम स्मैक बरामद हुई है। आरोपी के खिलाफ एनडीपीएस एक्ट (Narcotic Drugs and Psychotropic Substances Act) के तहत गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज कर उसे जेल भेज दिया गया है। यह कार्रवाई न केवल पुलिस की सतर्कता को दर्शाती है, बल्कि क्षेत्र में नशे के बढ़ते कारोबार पर लगाम लगाने के लिए चलाए जा रहे अभियान को भी मजबूती देती है। पुलिस की सतर्कता और सफल ऑपरेशन यह घटना गुरुवार देर रात की है, जब काशीपुर के उप-निरीक्षक मनोज धोनी अपनी टीम के साथ क्षेत्र में गश्त पर थे। पुलिस को लंबे समय से इस क्षेत्र में नशे के अवैध कारोबार की सूचना मिल रही थी। इसी सूचना के आधार पर पुलिस की टीम विशेष रूप से चौकस थी। रात के सन्नाटे में, पुलिस की नजर डिजाइन सेंटर के पास एक बाइक सवार युवक पर पड़ी, जिसकी गतिविधियां संदिग्ध लग रही थीं। पुलिस ने उसे रुकने का इशारा किया। पुलिस को देखते ही युवक ने भागने की कोशिश की, लेकिन टीम ने मुस्तैदी दिखाते हुए उसे धर दबोचा। पुलिस द्वारा तलाशी लेने पर युवक के कब्जे से एक प्लास्टिक की पुड़िया बरामद हुई, जिसमें 8.25 ग्राम स्मैक थी। यह मात्रा एनडीपीएस एक्ट के तहत वाणिज्यिक मात्रा के दायरे में आती है, जिससे आरोपी पर लगाई गई धाराएं और भी सख्त हो जाती हैं। पूछताछ के दौरान, आरोपी ने अपना नाम आमिर खान बताया, जो अल्ली खां मोहल्ले का निवासी है। पुलिस अब इस बात की जांच कर रही है कि आमिर कहां से स्मैक खरीदता था और किन लोगों को बेचता था। एनडीपीएस एक्ट के तहत सख्त कार्रवाई पुलिस ने तत्काल आरोपी आमिर खान के खिलाफ एनडीपीएस एक्ट की धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज कर लिया है। एनडीपीएस एक्ट के तहत ड्रग्स की मात्रा के आधार पर सजा का प्रावधान है। कम मात्रा के लिए कम सजा होती है, जबकि वाणिज्यिक मात्रा के लिए 10 साल से लेकर 20 साल तक की जेल और भारी जुर्माना हो सकता है। 8.25 ग्राम की मात्रा को देखते हुए, आरोपी को एक लंबी सजा का सामना करना पड़ सकता है। यह कार्रवाई उन लोगों के लिए एक सख्त संदेश है जो युवाओं को नशे की लत में धकेलकर समाज को खोखला कर रहे हैं। पुलिस का कहना है कि यह कार्रवाई नशे के खिलाफ उनके ज़ीरो टॉलरेंस की नीति का हिस्सा है। पिछले कुछ महीनों में पुलिस ने कई नशा तस्करों को गिरफ्तार किया है और इस तरह के अवैध धंधे में शामिल कई गिरोहों का भंडाफोड़ किया है। पुलिस का यह अभियान लगातार जारी रहेगा और इसमें आम जनता से भी सहयोग की अपील की गई है, ताकि नशे के जाल को पूरी तरह से खत्म किया जा सके। काशीपुर शहर में युवाओं में नशे की लत एक बड़ी समस्या बनती जा रही है, और इस तरह की गिरफ्तारियां पुलिस के प्रयासों को दर्शाती हैं। यह उम्मीद की जाती है कि यह कार्रवाई न केवल नशा तस्करों के बीच डर पैदा करेगी, बल्कि युवाओं को भी नशे से दूर रहने के लिए प्रेरित करेगी।

काशीपुर में पुलिस का सख्त अभियान: कोर्ट से जारी वारंट पर 5 वारंटी गिरफ्तार, टली कानूनी कार्रवाई को अंजाम तक पहुंचाया

काशीपुर, 05 जुलाई 2025 – (समय बोल रहा ) – न्यायपालिका के आदेशों का सम्मान और कानून-व्यवस्था को बनाए रखने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए काशीपुर पुलिस ने कोर्ट से जारी गिरफ्तारी वारंटों के आधार पर पांच वारंटियों को गिरफ्तार किया है। ये सभी वारंटी लंबे समय से अदालत के समन की…

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उत्तराखंड 04 अगस्त 2025 – (समय बोल रहा ) – उत्तराखंड में घरेलू हिंसा के दो अलग-अलग और बेहद परेशान करने वाले मामले सामने आए हैं, जिन्होंने पारिवारिक रिश्तों में पनप रही हिंसा और आक्रोश की भयावहता को उजागर किया है। एक मामले में, एक महिला ने डीएम से गुहार लगाई कि उसका पति बात-बात पर बंदूक तानकर उसे धमकाता है, जबकि दूसरे मामले में एक मामूली सी बात—बेटे की शर्ट जल जाने पर—दंपति के बीच जमकर मारपीट हुई। इन दोनों घटनाओं ने न केवल पुलिस और प्रशासन को सख्त कार्रवाई के लिए मजबूर किया है, बल्कि समाज में गहराती घरेलू हिंसा की समस्या पर भी चिंताजनक सवाल खड़े किए हैं। बंदूक की नोक पर दहशत का माहौल, डीएम ने लाइसेंस रद्द कर दिया उत्तराखंड में घरेलू हिंसा का एक सनसनीखेज मामला तब सामने आया, जब एक महिला ने सीधे जिलाधिकारी सविन बंसल से मिलकर अपनी आपबीती सुनाई। महिला ने जिलाधिकारी को एक लिखित शिकायत पत्र सौंपकर बताया कि उसका पति दहेज की मांग को लेकर उसे अक्सर प्रताड़ित करता है। यह प्रताड़ना सिर्फ मौखिक नहीं है, बल्कि उसका पति आए दिन घर में अपनी लाइसेंसी बंदूक तानकर उसे और उसके बच्चों को डराता-धमकाता है। महिला ने कहा कि इस लगातार मानसिक उत्पीड़न के कारण वह भारी दबाव में जी रही है और उसे अपनी और अपने परिवार की जान का खतरा महसूस होता है। शिकायत की गंभीरता को समझते हुए, डीएम सविन बंसल ने तत्काल कार्रवाई के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि "लोक शांति, पारिवारिक सुरक्षा और सार्वजनिक सुरक्षा" को बनाए रखने के लिए इस तरह के कृत्य को बिल्कुल भी बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। डीएम ने आरोपी पति के शस्त्र लाइसेंस को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया। इसके साथ ही, उन्होंने नेहरू कॉलोनी थानाध्यक्ष को निर्देश दिया कि आरोपी की बंदूक को तुरंत जब्त कर सरकारी पुलिस अभिरक्षा में रखा जाए। जिलाधिकारी ने यह भी स्पष्ट किया कि आरोपी पति को अपने बचाव में अपना पक्ष रखने के लिए 15 दिन का समय दिया गया है। यह प्रशासनिक कार्रवाई न केवल महिला को सुरक्षा प्रदान करेगी, बल्कि ऐसे लोगों के लिए भी एक कड़ा संदेश है जो लाइसेंसी हथियारों का दुरुपयोग कर अपने ही परिवार को डराते-धमकाते हैं। बेटे की शर्ट जली तो झगड़ा, मारपीट के बाद दर्ज हुआ केस इसी तरह घरेलू हिंसा का एक और मामला सामने आया है, जो बताता है कि कैसे छोटे-छोटे घरेलू विवाद भी हिंसक रूप ले सकते हैं। नेहरू कॉलोनी थाने में ऋताक्षी हूजा नामक एक महिला ने अपने पति अर्जुन हूजा के खिलाफ मारपीट, गाली-गलौज और मानसिक उत्पीड़न का मुकदमा दर्ज कराया है। पुलिस के अनुसार, दंपति के बीच पहले से ही तलाक का केस चल रहा है, जिसके कारण वे एक ही घर में अलग-अलग रह रहे हैं। गत 17 जुलाई की सुबह, ऋताक्षी ने अपने 5 वर्षीय बेटे की शर्ट प्रेस करने के लिए अपने पति अर्जुन से कहा। आरोप है कि प्रेस करते वक्त अर्जुन से शर्ट जल गई। इस पर ऋताक्षी ने आपत्ति जताई तो अर्जुन आग-बबूला हो गया। बात कहासुनी से शुरू हुई और देखते ही देखते गाली-गलौज और मारपीट तक जा पहुंची। इस घटना के बाद ऋताक्षी ने तत्काल नेहरू कॉलोनी थाने में शिकायत दर्ज कराई। थानाध्यक्ष संजीत कुमार ने बताया कि मामले की गंभीरता को देखते हुए अर्जुन के खिलाफ केस दर्ज कर लिया गया है और मामले की जांच की जा रही है। यह घटना दर्शाती है कि पारिवारिक तनाव और रिश्तों में कड़वाहट किस तरह एक छोटी सी गलती को भी बड़े झगड़े और हिंसा में बदल सकती है। समाधान की ओर: एक मजबूत समाज की जरूरत ये दोनों मामले घरेलू हिंसा की विभिन्न परतों को उजागर करते हैं। एक तरफ, जहां बंदूकों का इस्तेमाल कर शारीरिक और मानसिक भय का माहौल बनाया जा रहा है, वहीं दूसरी ओर, छोटी-छोटी बातों पर होने वाली हिंसा भी पारिवारिक रिश्तों की बुनियाद को कमजोर कर रही है। इन मामलों में प्रशासन और पुलिस की त्वरित कार्रवाई प्रशंसनीय है। डीएम द्वारा लाइसेंसी बंदूक को जब्त करने का निर्णय यह दिखाता है कि प्रशासनिक स्तर पर भी ऐसी शिकायतों को गंभीरता से लिया जा रहा है। इसी तरह, पुलिस द्वारा घरेलू विवाद में भी तत्काल केस दर्ज करना यह सुनिश्चित करता है कि महिलाओं को न्याय मिल सके। यह महत्वपूर्ण है कि ऐसे मामलों में पीड़ित को खुलकर सामने आने और अपनी आवाज उठाने का हौसला मिले। समाज को भी घरेलू हिंसा के खिलाफ एक मजबूत और संवेदनशील माहौल बनाने की जरूरत है, जहां महिलाएं सुरक्षित महसूस करें और उन्हें बिना किसी डर के मदद मिल सके। इन घटनाओं से यह साफ है कि घरेलू हिंसा के खिलाफ कानूनी कार्रवाई के साथ-साथ सामाजिक जागरूकता भी उतनी ही आवश्यक है।

उत्तराखंड में घरेलू हिंसा के दो संगीन मामले: पत्नी पर बंदूक तानता था पति, तो दूसरी तरफ शर्ट जलने पर हुई मारपीट; डीएम ने बंदूक का लाइसेंस रद्द किया

उत्तराखंड 04 अगस्त 2025 – (समय बोल रहा ) – उत्तराखंड में घरेलू हिंसा के दो अलग-अलग और बेहद परेशान करने वाले मामले सामने आए हैं, जिन्होंने पारिवारिक रिश्तों में पनप रही हिंसा और आक्रोश की भयावहता को उजागर किया है। एक मामले में, एक महिला ने डीएम से गुहार लगाई कि उसका पति बात-बात…

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काशीपुर, 03 अक्टूबर 2025 (समय बोल रहा )– गिरीताल क्षेत्र से एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है, जहाँ एक विवाहिता ने अपने पति समेत तीन ससुरालियों पर दहेज में क्रेटा कार और 8 लाख रुपये नकद की मांग पूरी न होने पर गंभीर शारीरिक और मानसिक उत्पीड़न का आरोप लगाया है। विवाहिता की शिकायत पर पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ दहेज उत्पीड़न और मारपीट सहित कई धाराओं में केस दर्ज कर लिया है और मामले की जांच शुरू कर दी है। क्या है पूरा मामला? गिरीताल निवासी शैलजा सिंह ने पुलिस को दी गई तहरीर में बताया कि उनकी शादी 14 जनवरी 2024 को दिल्ली निवासी ऋषभ चौहान से हुई थी। शादी के कुछ ही दिनों बाद उनके ससुराल वाले उनसे क्रेटा कार और 8 लाख रुपये नकद की मांग करने लगे। शैलजा सिंह का आरोप है कि दहेज की मांग पूरी न होने पर उनके पति ऋषभ चौहान, सास स्नेहलता चौहान और ससुर राम सिंह चौहान ने उन्हें कम दहेज लाने के लिए शारीरिक और मानसिक रूप से प्रताड़ित करना शुरू कर दिया। गर्भावस्था में की मारपीट और बनाया दबाव पीड़िता का आरोप है कि जब वह गर्भवती थीं, तब भी उनके पति ऋषभ चौहान ने उनके साथ मारपीट की और उन पर गर्भपात कराने का दबाव बनाया। यह घटना ससुरालियों द्वारा किए जा रहे उत्पीड़न की गंभीरता को दर्शाती है। सबसे गंभीर आरोप यह है कि 14 अप्रैल 2024 को दहेज की मांग पूरी न होने पर ससुराल वालों ने उन्हें घर में बंद कर दिया, खाना-पीना नहीं दिया और कथित तौर पर जलाकर मारने का प्रयास भी किया। पिता ने कराया बच्चे का जन्म, ससुरालियों ने दी गाली-गलौज शैलजा ने बताया कि इस उत्पीड़न के बाद वह किसी तरह अपने मायके पहुंचीं। बाद में, उन्होंने 26 नवंबर 2024 को काशीपुर के एक अस्पताल में एक पुत्र को जन्म दिया, जिसका संपूर्ण खर्च उनके माता-पिता द्वारा उठाया गया। बच्चे के जन्म की सूचना देने पर भी ससुराल वालों ने संवेदनशीलता दिखाने के बजाय, उन्हें गाली-गलौज की और दहेज की मांग जारी रखी। पुलिस ने दर्ज किया केस, जांच शुरू विवाहिता शैलजा सिंह की तहरीर के आधार पर, पुलिस ने आरोपी पति ऋषभ चौहान, सास स्नेहलता चौहान और ससुर राम सिंह चौहान के खिलाफ दहेज प्रतिषेध अधिनियम और आईपीसी की संबंधित धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज कर लिया है। पुलिस अधिकारियों ने बताया कि मामले की गंभीरता को देखते हुए तत्काल जांच शुरू कर दी गई है। आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए दिल्ली में उनके पते पर पुलिस टीम भेजने की तैयारी की जा रही है।

 फ्लैट बेचने के नाम पर करोड़ों की ठगी: भू-माफिया दीपक मित्तल पर एक और FIR, अब तक 9 मुकदमे दर्ज

देहरादून, 02 अगस्त 2025 – (समय बोल रहा) – उत्तराखंड की रियल एस्टेट इंडस्ट्री में धोखाधड़ी और फर्जीवाड़े का पर्याय बन चुके भू-माफिया दीपक मित्तल की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। धोखाधड़ी के एक और नए मामले में मित्तल और उसके साथियों पर कंपनी के खातों से करोड़ों की रकम गबन…

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जसपुर, 31 जुलाई 2025 – (समय बोल रहा ) – उत्तराखण्ड में पंचायत चुनाव 2025 की मतगणना अब अपने निर्णायक चरणों की ओर बढ़ रही है। ऊधमसिंहनगर जिले के जसपुर ब्लॉक में चौथे राउंड की मतगणना के परिणाम घोषित हो चुके हैं, जिसने चुनावी दौड़ में शामिल कई ग्राम पंचायतों की तस्वीर साफ कर दी है। इस राउंड के नतीजों में विशेष रूप से महिला और युवा उम्मीदवारों का दबदबा देखने को मिला है, जो ग्रामीण राजनीति में एक नए परिवर्तन का संकेत है। मतगणना केंद्र पर कड़ी सुरक्षा के बीच घोषित इन परिणामों से विजयी प्रत्याशियों और उनके समर्थकों में जबरदस्त उत्साह का माहौल है। चौथे राउंड में विजयी हुए ग्राम प्रधानों की सूची जसपुर ब्लॉक के चौथे राउंड की मतगणना में कई ग्राम पंचायतों को उनका नया नेतृत्व मिल गया है। इन परिणामों में विभिन्न आरक्षित और अनारक्षित सीटों पर अलग-अलग उम्मीदवारों ने जीत हासिल की है। ग्राम धर्मपुर (आरक्षण: अनुसूचित जाति महिला): इस सीट पर नीशू ने जीत दर्ज करते हुए 491 मत प्राप्त किए और सविरोध निर्वाचित हुईं। उनकी जीत धर्मपुर में अनुसूचित जाति महिला वर्ग के लिए एक महत्वपूर्ण प्रतिनिधित्व सुनिश्चित करती है। ग्राम पूरनपुर (आरक्षण: अनुसूचित जाति महिला): पूरनपुर से मृदुला सागर 507 मतों के साथ विजयी रही हैं। उनकी जीत भी आरक्षित वर्ग में महिला नेतृत्व को मजबूत करती है। ग्राम नादेही (आरक्षण: अन्य पिछड़ा वर्ग): नादेही की सीट पर महेश सिंह ने 329 मत प्राप्त कर जीत हासिल की है। यह जीत उनके क्षेत्र में मजबूत जनाधार का प्रमाण है। ग्राम आसपुर (आरक्षण: अनारक्षित): आसपुर में नरेन्द्र सिंह ने 418 मत प्राप्त कर प्रधान पद पर कब्जा किया है। ग्राम राजपुर (आरक्षण: महिला): राजपुर से इल्मा परवीन ने 1347 मतों के साथ शानदार जीत दर्ज की है, जो उनके प्रति जनता के भारी विश्वास को दर्शाता है। ग्राम गढ़ीहुसैन (आरक्षण: अनारक्षित): गढ़ीहुसैन में रविन्द्र सिंह ने 541 मत प्राप्त कर जीत हासिल की है। ग्राम कलियावाला (आरक्षण: अन्य पिछड़ा वर्ग): कलियावाला से बलजीत कौर 324 मतों के साथ विजयी रहीं, जो ग्रामीण राजनीति में महिला भागीदारी को बढ़ावा देती है। ग्राम कासमपुर (आरक्षण: महिला): कासमपुर में मनोज कुमारी ने 695 मत प्राप्त कर जीत हासिल की है। ग्राम देवीपुरा (आरक्षण: अन्य पिछड़ा वर्ग महिला): देवीपुरा की सीट पर सुलेखा सैनी ने 586 मतों के साथ एक निर्णायक जीत दर्ज की। ग्राम मुरलीवाला (आरक्षण: अनारक्षित): मुरलीवाला से अनुज कुमार ने 381 मत प्राप्त कर प्रधान पद का चुनाव जीता है। ग्राम खेड़ालक्ष्मीपुर (आरक्षण: महिला): खेड़ालक्ष्मीपुर में नाहिद अख्तर 985 मतों के साथ विजयी रहीं, जो महिला नेतृत्व की बढ़ती स्वीकार्यता का प्रमाण है। ग्राम सन्यासियोंवाला (आरक्षण: अनारक्षित): सन्यासियोंवाला से आशीष चौहान ने 685 मतों के साथ जीत हासिल की है। ग्राम तालबपुर (आरक्षण: अनारक्षित): तालबपुर में कविता देवी ने 546 मत प्राप्त कर प्रधान पद पर कब्जा किया है। ग्राम नारायणपुर (आरक्षण: अनुसूचित जाति): नारायणपुर से करतार सिंह 493 मतों के साथ विजयी रहे हैं। ग्राम सूरजपुर (आरक्षण: अनारक्षित): सूरजपुर में गुरमेज सिंह ने 339 मत प्राप्त कर जीत हासिल की है। ये नतीजे यह दर्शाते हैं कि प्रत्येक ग्राम पंचायत में जनता ने अपने प्रतिनिधि का चुनाव उनकी योग्यता, स्थानीय समस्याओं के प्रति उनकी समझ और उनके वादों के आधार पर किया है। बदलता ग्रामीण परिदृश्य: युवा और महिला नेतृत्व को प्राथमिकता जसपुर ब्लॉक के इन नतीजों में एक खास बात यह भी देखने को मिल रही है कि मतदाताओं ने युवा और महिला उम्मीदवारों पर भरोसा जताया है। आरक्षित और अनारक्षित दोनों सीटों पर महिलाओं की जीत यह साबित करती है कि अब ग्रामीण मतदाता पुराने ढर्रे से बाहर निकलकर नए और सक्षम नेतृत्व को चुन रहे हैं। इल्मा परवीन, नाहिद अख्तर और सुलेखा सैनी जैसी महिला उम्मीदवारों की जीत यह संदेश देती है कि ग्रामीण क्षेत्रों में भी महिला सशक्तिकरण की लहर तेजी से फैल रही है। इन नवनिर्वाचित प्रतिनिधियों के सामने अब अपने-अपने गाँवों में विकास कार्यों को गति देने और जनता की अपेक्षाओं पर खरा उतरने की चुनौती होगी। मतगणना केंद्र पर उत्साह और सुरक्षा का माहौल चौथे राउंड के परिणाम घोषित होने के बाद मतगणना केंद्र पर माहौल काफी गर्मजोशी भरा रहा। विजयी उम्मीदवारों के समर्थकों ने ढोल-नगाड़ों और आतिशबाजी के साथ जश्न मनाया। सुरक्षा के पुख्ता इंतजामों के बीच पुलिसकर्मियों ने भीड़ को नियंत्रित किया और किसी भी प्रकार की अव्यवस्था को होने से रोका। मतगणना हॉल में हर एक वोट की गिनती पर प्रत्याशियों के एजेंट पैनी नजर बनाए हुए थे, जिससे प्रक्रिया की पारदर्शिता सुनिश्चित हो रही थी। आगे की तस्वीर: अंतिम परिणामों का इंतजार जसपुर ब्लॉक में मतगणना अभी भी जारी है। चौथे राउंड के बाद अब बाकी राउंड के परिणाम भी जल्द ही आने की उम्मीद है। ये परिणाम जहां ग्राम प्रधानों की तस्वीर साफ कर चुके हैं, वहीं क्षेत्र पंचायत सदस्यों और जिला पंचायत सदस्यों के अंतिम परिणाम आने का भी बेसब्री से इंतजार किया जा रहा है। जिला निर्वाचन अधिकारी और राज्य निर्वाचन आयोग लगातार अपडेट जारी कर रहे हैं। अब सभी की निगाहें अंतिम परिणामों पर टिकी हैं, जो यह तय करेंगे कि अगले पांच वर्षों के लिए ग्रामीण उत्तराखण्ड का नेतृत्व किसके हाथों में होगा।

पंचायत चुनाव: जसपुर ब्लॉक में चौथे राउंड की मतगणना पूरी, कई ग्राम पंचायतों को मिले नए प्रधान, महिला और युवा नेतृत्व का दबदबा

जसपुर, 31 जुलाई 2025 – (समय बोल रहा ) – उत्तराखण्ड में पंचायत चुनाव 2025 की मतगणना अब अपने निर्णायक चरणों की ओर बढ़ रही है। ऊधमसिंहनगर जिले के जसपुर ब्लॉक में चौथे राउंड की मतगणना के परिणाम घोषित हो चुके हैं, जिसने चुनावी दौड़ में शामिल कई ग्राम पंचायतों की तस्वीर साफ कर दी…

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जसपुर, 31 जुलाई 2025 – (समय बोल रहा ) – उत्तराखण्ड में चल रहे पंचायत चुनाव 2025 की मतगणना में अब तेजी आ गई है। ऊधमसिंहनगर जिले के जसपुर ब्लॉक से दूसरे राउंड के ग्राम प्रधान पदों के महत्वपूर्ण परिणाम सामने आने लगे हैं, जिन्होंने चुनावी तस्वीर को और दिलचस्प बना दिया है। इन नतीजों के साथ, कई ग्राम पंचायतों को अगले पाँच वर्षों के लिए अपना नया नेतृत्व मिल गया है, जिससे ग्रामीण क्षेत्रों में खुशी और उत्साह का माहौल है। जसपुर ब्लॉक: ग्राम प्रधान पदों पर दूसरे राउंड के विजेता, बदलती ग्रामीण राजनीति दूसरे राउंड की मतगणना के बाद, जसपुर ब्लॉक की कई ग्राम पंचायतों को उनके नए प्रधान मिल गए हैं। ये परिणाम न केवल व्यक्तिगत जीत को दर्शाते हैं, बल्कि ग्रामीण राजनीति में बदलते समीकरणों और जनता की अपेक्षाओं को भी उजागर करते हैं। घोषित परिणाम इस प्रकार हैं: ग्राम निवारमुण्डी (पद का आरक्षण: अन्य पिछड़ा वर्ग महिला): इस महत्वपूर्ण सीट पर राजेश्वरी देवी ने शानदार प्रदर्शन करते हुए 331 वैध मत प्राप्त किए और सविरोध निर्वाचित हुई हैं। उनकी जीत निवारमुण्डी में महिला नेतृत्व और अन्य पिछड़ा वर्ग के प्रतिनिधित्व को मजबूत करती है। ग्राम मण्डुवाखेड़ा (पद का आरक्षण: अन्य पिछड़ा वर्ग): मण्डुवाखेड़ा में दीपक कुमार ने 424 वैध मत प्राप्त कर प्रधान पद पर सविरोध निर्वाचन हासिल किया है। यह जीत क्षेत्र में उनके मजबूत जनाधार को दर्शाती है। ग्राम उमरपुर (पद का आरक्षण: अन्य पिछड़ा वर्ग महिला): उमरपुर में रिंकी ने प्रभावशाली जीत दर्ज की है। उन्होंने 815 वैध मत प्राप्त कर सविरोध निर्वाचित होकर दिखाया कि महिला सशक्तिकरण की दिशा में ग्रामीण क्षेत्रों में भी प्रगति हो रही है। उनकी जीत कुल वैध मतों का 58.01% है, जो एक बड़ी जीत मानी जा रही है। ग्राम गुलरगोजी (पद का आरक्षण: अनारक्षित): गुलरगोजी की अनारक्षित सीट पर आरती ने 463 वैध मत प्राप्त कर सविरोध निर्वाचन प्राप्त किया है। उनकी जीत यह दर्शाती है कि जनता ने योग्यता और कार्यक्षमता को प्राथमिकता दी है। ग्राम अंगदपुर (पद का आरक्षण: महिला): अंगदपुर में सीमा देवी ने रिकॉर्ड 1188 वैध मत प्राप्त कर सविरोध निर्वाचित हुई हैं। यह उनके प्रति जनता के अपार विश्वास और समर्थन को दर्शाता है। 57.81% मत प्राप्त करना उनकी लोकप्रियता का प्रमाण है। ग्राम रायपुर पटटी दिल्ला (पद का आरक्षण: अन्य पिछड़ा वर्ग): रायपुर पटटी दिल्ला से दिलशाद शाह ने 1514 वैध मत प्राप्त कर सविरोध निर्वाचित हुए हैं। यह बड़ी जीत उनके क्षेत्र में मजबूत पकड़ और समुदाय के समर्थन को दर्शाती है। 53.35% मत प्राप्त करना उनकी निर्णायक जीत का प्रतीक है। इन परिणामों के साथ, इन गाँवों को अगले पाँच वर्षों के लिए अपना नया मुखिया मिल गया है, जो स्थानीय विकास और जनहित के कार्यों को आगे बढ़ाएंगे। नवनिर्वाचित प्रधानों के सामने अब अपने-अपने गाँवों में विकास कार्यों को गति देने और जनता की अपेक्षाओं पर खरा उतरने की चुनौती होगी। मतगणना केंद्रों पर उत्साह और सुरक्षा के कड़े इंतजाम जसपुर सहित ऊधमसिंहनगर के सभी मतगणना केंद्रों पर मतगणना प्रक्रिया पूरी मुस्तैदी और सुरक्षा के बीच जारी है। पुलिस और प्रशासनिक अधिकारी मतगणना प्रक्रिया की लगातार निगरानी कर रहे हैं ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि पूरी प्रक्रिया निष्पक्ष और पारदर्शी तरीके से संपन्न हो। हर मतगणना टेबल पर कड़ी नजर रखी जा रही है और सीसीटीवी कैमरों से भी निगरानी की जा रही है। मतगणना केंद्रों के बाहर और अंदर प्रत्याशियों और उनके एजेंटों की भारी भीड़ मौजूद है। हर एक वोट की गिनती पर उनकी पैनी नजर है। जैसे ही किसी ग्राम पंचायत का परिणाम घोषित होता है, विजयी प्रत्याशी के समर्थकों में खुशी की लहर दौड़ जाती है। ढोल-नगाड़ों और आतिशबाजी के साथ जश्न का माहौल बन जाता है, जबकि हारे हुए प्रत्याशियों के खेमे में मायूसी छा जाती है। सुरक्षाकर्मी भीड़ को नियंत्रित करने और कानून-व्यवस्था बनाए रखने में जुटे हुए हैं। आगे की तस्वीर: अन्य पदों और अंतिम परिणामों का इंतजार ये जसपुर ब्लॉक के दूसरे राउंड के घोषित नतीजे हैं, जो मुख्य रूप से ग्राम प्रधानों पर केंद्रित हैं। मतगणना प्रक्रिया अभी भी जारी है और उम्मीद है कि देर शाम तक या अगले कुछ घंटों में क्षेत्र पंचायत सदस्यों और जिला पंचायत सदस्यों के अंतिम परिणाम भी सामने आएंगे। जिला निर्वाचन अधिकारी और राज्य निर्वाचन आयोग लगातार अपडेट जारी कर रहे हैं और मीडिया के माध्यम से जनता तक सूचना पहुंचा रहे हैं। सभी की निगाहें अब अंतिम परिणामों पर टिकी हैं, जो यह तय करेंगे कि अगले पांच वर्षों के लिए ग्रामीण उत्तराखण्ड का नेतृत्व किसके हाथों में होगा। यह चुनाव ग्रामीण क्षेत्रों में नए नेतृत्व और विकास की नई दिशा तय करेगा। इन नवनिर्वाचित प्रतिनिधियों के कंधों पर अपने-अपने क्षेत्रों की समस्याओं को सुलझाने, सरकारी योजनाओं का लाभ जनता तक पहुंचाने और स्थानीय विकास को गति देने की बड़ी जिम्मेदारी होगी।

पंचायत चुनाव: जसपुर ब्लॉक के दूसरे राउंड के ग्राम प्रधान नतीजे घोषित, कई गाँवों को मिले नए प्रधान

जसपुर, 31 जुलाई 2025 – (समय बोल रहा ) – उत्तराखण्ड में चल रहे पंचायत चुनाव 2025 की मतगणना में अब तेजी आ गई है। ऊधमसिंहनगर जिले के जसपुर ब्लॉक से दूसरे राउंड के ग्राम प्रधान पदों के महत्वपूर्ण परिणाम सामने आने लगे हैं, जिन्होंने चुनावी तस्वीर को और दिलचस्प बना दिया है। इन नतीजों…

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