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जसपुर, 17 सितंबर 2025 - (रिपोर्ट: समय बोल रहा ) - उत्तराखंड पुलिस की कार्यप्रणाली और दक्षता का एक और बड़ा उदाहरण सामने आया है। एसएसपी मणिकान्त मिश्रा के कुशल नेतृत्व में कोतवाली जसपुर पुलिस ने एक नाबालिग बच्ची के साथ दुष्कर्म और नृशंस हत्या के जघन्य मामले का खुलासा महज 12 घंटे के भीतर कर दिया। पुलिस की यह त्वरित और सटीक कार्रवाई न केवल आरोपी को सलाखों के पीछे ले आई, बल्कि समाज में फैल रही असुरक्षा की भावना को भी शांत करने का काम किया। पुलिस ने आरोपी की निशानदेही पर खून से सना ब्लेड और कपड़े भी बरामद किए हैं। दर्दनाक घटना और पुलिस का त्वरित एक्शन घटना जसपुर क्षेत्र की है, जहां एक नाबालिग बच्ची के साथ दुष्कर्म और निर्मम हत्या की सूचना मिलते ही पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया। अपराध की गंभीरता को देखते हुए, एसएसपी मणिकान्त मिश्रा ने तुरंत एक्शन लेते हुए 10 अलग-अलग पुलिस टीमों का गठन किया। इन टीमों को तत्काल प्रभाव से आरोपी की तलाश में लगा दिया गया। पुलिस का लक्ष्य था कि आरोपी को जल्द से जल्द पकड़कर पीड़ित परिवार को न्याय दिलाया जाए और कानून का राज स्थापित किया जाए। पुलिस ने अपनी जांच की शुरुआत घटनास्थल और उसके आसपास के इलाके से की। स्थानीय लोगों और संभावित चश्मदीदों से पूछताछ की गई। पुलिस के लिए सबसे बड़ी चुनौती कम समय में आरोपी की पहचान करना था, क्योंकि अपराध को बड़ी ही चालाकी से अंजाम दिया गया था। बच्ची के रोने की आवाज बनी अहम सुराग जांच के दौरान पुलिस की एक टीम ने एक बेहद अहम जानकारी जुटाई। पड़ोसियों ने बताया कि घटना की रात उन्होंने एक बच्ची के रोने की आवाज सुनी थी, जो बाद में अचानक बंद हो गई। पुलिस ने इस जानकारी को गंभीरता से लेते हुए, उन सभी घरों और रास्तों की गहन तलाशी शुरू की जहां से यह आवाज आई हो सकती थी। पुलिस की पारखी नजर ने एक ऐसे संदिग्ध पर फोकस किया, जिसकी गतिविधियां सामान्य नहीं लग रही थीं और जिसका बर्ताव पुलिस को देखकर बदल रहा था। जब पुलिस ने उस व्यक्ति से पूछताछ की, तो वह घबरा गया और पुलिस के सवालों का सही से जवाब नहीं दे पाया। पुलिस का शक पुख्ता हो गया और सख्ती से पूछताछ करने पर आरोपी ने अपना गुनाह कबूल कर लिया। आरोपी ने न केवल नाबालिग बच्ची के साथ दुष्कर्म किया, बल्कि अपनी पहचान छिपाने के लिए उसकी नृशंस हत्या भी कर दी थी। आरोपी की पहचान और पिछली अपराधिक पृष्ठभूमि आरोपी की पहचान होने के बाद, पुलिस उसे लेकर घटनास्थल पर पहुंची। उसकी निशानदेही पर पुलिस ने वह ब्लेड और कपड़े बरामद किए, जिनसे इस जघन्य अपराध को अंजाम दिया गया था। ये बरामदगी इस केस के लिए अहम सबूत साबित हुई। पुलिस ने बताया कि आरोपी पर पूर्व में भी कोतवाली जसपुर में एक गंभीर मुकदमा पंजीकृत है, जो उसकी आपराधिक प्रवृत्ति को दर्शाता है। पुलिस की इस तेज तर्रार कार्रवाई और सूझबूझ से पूरे मामले का खुलासा हो गया और 12 घंटे के भीतर ही आरोपी सलाखों के पीछे पहुंच गया। पुलिस की इस कार्रवाई की चारों ओर सराहना हो रही है। इस घटना से जहां एक ओर समाज में भय का माहौल बना था, वहीं पुलिस की इस कार्रवाई ने जनता में विश्वास बहाल किया है। एसएसपी मणिकान्त मिश्रा ने अपनी टीमों के हर सदस्य की पीठ थपथपाई और उन्हें इस मुश्किल केस को सुलझाने के लिए बधाई दी।

जसपुर में जघन्य अपराध: 12 घंटे में नाबालिग से दुष्कर्म और हत्या का खुलासा, बच्ची के रोने की आवाज बनी पुलिस का अहम सुराग

जसपुर, 17 सितंबर 2025 – (रिपोर्ट: समय बोल रहा ) – उत्तराखंड पुलिस की कार्यप्रणाली और दक्षता का एक और बड़ा उदाहरण सामने आया है। एसएसपी मणिकान्त मिश्रा के कुशल नेतृत्व में कोतवाली जसपुर पुलिस ने एक नाबालिग बच्ची के साथ दुष्कर्म और नृशंस हत्या के जघन्य मामले का खुलासा महज 12 घंटे के भीतर…

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जसपुर, 22 सितंबर 2025 - ( समय बोल रहा ) - जसपुर के 35 बैलजुड़ी क्षेत्र में बिजली उपभोक्ताओं को हो रही समस्याओं को देखते हुए, अब एक बड़ी पहल शुरू की गई है। जनता की शिकायतों को गंभीरता से लेते हुए, जिला पंचायत सदस्य चरनजीत सिंह संजोता के नेतृत्व में, विद्युत विभाग ने कैंप कार्यालयों का आयोजन करने का निर्णय लिया है। इन कैंपों का उद्देश्य जनता की समस्याओं का मौके पर ही समाधान करना है, और ये कैंप कल, 23 सितंबर से विभिन्न क्षेत्रों में शुरू होंगे। कैंप का विस्तृत शेड्यूल जारी चरनजीत सिंह ने बताया कि इन कैंपों का आयोजन इसलिए किया जा रहा है ताकि उपभोक्ताओं को अपनी छोटी-छोटी समस्याओं के लिए जसपुर स्थित मुख्य कार्यालय तक के चक्कर न लगाने पड़ें। इन कैंपों का शेड्यूल इस प्रकार है: 23 सितंबर 2025 (मंगलवार): किलावाली और दुर्गापुर के लिए दुर्गापुर गुरुद्वारा में कैंप लगाया जाएगा। 24 सितंबर 2025 (बुधवार): केसीपुर, गणेशपुर और करनपुर के उपभोक्ताओं के लिए ए.एन. झा इंटर कॉलेज में कैंप आयोजित होगा। 26 सितंबर 2025 (शुक्रवार): भरतपुर, टीला और बक्सोंरा के लिए भरतपुर पंचायत भवन में कैंप आयोजित किया जाएगा। 27 सितंबर 2025 (शनिवार): बैटवाला, बैलजुड़ी और मिसरवाला के उपभोक्ताओं के लिए प्राइमरी विद्यालय बैलजुड़ी में कैंप कार्यालय लगेगा। जनता की नाराजगी के बाद लिया गया फैसला यह कदम उस समय उठाया गया है जब हाल ही में जिला पंचायत सदस्य चरनजीत सिंह ने विद्युत विभाग को कड़ी चेतावनी दी थी कि यदि उनकी मांगों पर ध्यान नहीं दिया गया तो वे धरने पर बैठेंगे। यह कैंप उसी चेतावनी का सकारात्मक परिणाम माना जा रहा है। इसका उद्देश्य बिजली बिलों में सुधार, नए कनेक्शन की प्रक्रिया में तेजी लाना और उपभोक्ताओं की अन्य शिकायतों का त्वरित निपटारा करना है। इस पहल से उम्मीद है कि क्षेत्र के हजारों लोगों को बड़ी राहत मिलेगी और बिजली विभाग तथा जनता के बीच बेहतर तालमेल स्थापित हो सकेगा। यह कदम जनप्रतिनिधियों और प्रशासन के बीच बेहतर संवाद का भी एक अच्छा उदाहरण है।

जसपुर: 35 बैलजुड़ी में बिजली संकट, जिला पंचायत सदस्य चरणजीत सिंह ने दिया धरने का अल्टीमेटम

जसपुर, 16 सितंबर 2025 – (समय बोल रहा ) – जसपुर के 35 बैलजुड़ी क्षेत्र में बिजली उपभोक्ताओं और गरीब जनता को हो रही समस्याओं को लेकर अब आक्रोश बढ़ता जा रहा है। जनता के इस रोष को देखते हुए जिला पंचायत सदस्य चरणजीत सिंह ने उत्तराखंड पावर कॉर्पोरेशन लिमिटेड (यूपीसीएल) के अधिशासी अभियंता को…

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काशीपुर, 15 सितंबर 2025 – (रिपोर्ट: समय बोल रहा ) – निरंकारी मिशन की उप-प्रधान और मिशन के इतिहास में एक प्रेरणादायी अध्याय बनी पूजनीय राज वासदेव अब निरंकार प्रभु में ब्रह्मलीन हो गई हैं। 12 सितंबर की देर रात्रि को, उन्होंने अपने गुरु चरणों में सेवा करते हुए अंतिम सांस ली। उनका जीवन त्याग, तपस्या और संपूर्ण समर्पण का प्रतीक रहा। मिशन के सभी अनुयायी उनके निधन से गहरे शोक में हैं। उनकी अंतिम यात्रा 13 सितंबर को दिल्ली में संपन्न हुई, और उनकी सेवाओं को याद करने के लिए 14 सितंबर को एक विशेष 'प्रेरणा दिवस' का आयोजन किया गया। एक समर्पित जीवन की यात्रा राज वासदेव का जन्म 5 मई 1941 को पेशावर, पाकिस्तान में हुआ था। उनका मूल नाम रजिन्दर कौर था। गुरु परिवार से बचपन से ही जुड़ाव के कारण वे एक समर्पित गुरूसिख थीं। बाद में, उनका विवाह वासदेव सिंह से हुआ और लेखन तथा सेवाओं के क्षेत्र में वह राज वासदेव के नाम से प्रसिद्ध हुईं, जो उनकी पहचान बन गया। उन्होंने शहंशाह बाबा अवतार सिंह से ब्रह्मज्ञान प्राप्त किया और उनका पूरा परिवार ही निरंकारी मिशन के रंग में पूर्णतः रंगा हुआ था। यही कारण था कि उनकी सोच और कर्म में समर्पित भाव, निर्भयता और इश्क हकीकी का जुनून स्पष्ट दिखाई देता था। शिक्षा के प्रति उनके समर्पण ने उन्हें जीवन के हर क्षेत्र में उत्कृष्टता दिलाई। उन्होंने अपनी प्रारंभिक शिक्षा अंबाला कैंट के खालसा हाई स्कूल में प्राप्त की और होम नर्सिंग प्रतियोगिता में सफलता हासिल की। मैट्रिक के बाद, उन्होंने अंबाला कैंट के पंजाब नेशनल स्कूल में शिक्षिका के रूप में कार्य करना शुरू किया। अपनी पढ़ाई जारी रखते हुए उन्होंने अंग्रेजी में एम.ए. किया और बाद में होशियारपुर के देव कॉलेज में अंग्रेजी की प्रोफेसर बन गईं। जीवन में अनेक बार विषम परिस्थितियों का सामना करते हुए भी वे कभी नहीं रुकीं, जिसने उनके व्यक्तित्व में अदम्य साहस और तपस्या की झलक बनाए रखी। सेवा और नेतृत्व का नया अध्याय राज वासदेव ने मिशन के प्रचार-प्रसार को अपने जीवन का उद्देश्य बना लिया। उनका मानना था कि मिशन का हर बच्चा एक प्रचारक बने, और इसी उद्देश्य के साथ उन्होंने देश-विदेश में सत्संग और आध्यात्मिक जागरूकता का कार्य किया। 1990 से उन्होंने मिशन की पत्रिकाओं और प्रकाशनों में नियमित रूप से योगदान देना शुरू किया। उनके लेखन की शैली सरल, गहन और हृदयस्पर्शी थी, जो पाठकों को मिशन की शिक्षाओं से गहराई से जोड़ देती थी। उनकी लगन और समर्पण को देखते हुए, सतगुरु बाबा हरदेव सिंह ने 2002 की जनरल बॉडी मीटिंग में उन्हें संत निरंकारी मंडल की कार्यकारिणी समिति में एडिशनल मेंबर इंचार्ज नियुक्त किया। यह ऐतिहासिक क्षण था, क्योंकि वे इस समिति की पहली महिला सदस्य बनीं, जिसने मिशन में महिलाओं की सक्रिय भागीदारी को एक नया आयाम दिया। 2005 से 2009 तक, उन्हें प्रकाशन विभाग और मिशन के पब्लिक स्कूलों की सेवाएं सौंपी गईं, जिसे उन्होंने बड़ी ही निष्ठा और कुशलता से निभाया। 2013 में उन्हें प्रचार विभाग की जिम्मेदारी दी गई और उसी वर्ष उनके नेतृत्व में मिशन का प्रथम महिला संत समागम पूजनीय निरंकारी राजमाता कुलवंत कौर की अध्यक्षता में सम्पन्न हुआ। यह आयोजन मिशन की महिलाओं के लिए एक नई प्रेरणा बना। 2015 में उनके मार्गदर्शन में पहला अंग्रेजी माध्यम समागम आयोजित किया गया, जिसका विषय "Youth Guided by Truth" था, और इसमें सतगुरु बाबा हरदेव सिंह की पावन उपस्थिति रही। युवाओं को मिशन से जोड़ने के लिए उन्होंने कई कार्यशालाएं और प्रशिक्षण सत्र आयोजित किए, जो आज भी उनके योगदान की अमिट छाप छोड़ते हैं। उप-प्रधान के रूप में अंतिम सेवा उनकी सेवाओं का यह सिलसिला यहीं नहीं रुका। वर्ष 2018 में उन्हें ब्रांच प्रशासन विभाग की जिम्मेदारी दी गई, जिसमें हरियाणा, राजस्थान और गुजरात जैसे बड़े राज्यों का समावेश था। 2019 में मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ की शाखा प्रशासन सेवा भी उन्हें सौंपी गई। अंततः, 2022 में सतगुरु माता सुदीक्षा महाराज द्वारा उन्हें संत निरंकारी मंडल की उप-प्रधान नियुक्त किया गया। उन्होंने जीवन की अंतिम सांस तक इस दायित्व को पूर्ण निष्ठा से निभाया। राज वासदेव सदैव सतगुरु के आदेशों के प्रति समर्पित रहीं। उनके कार्यों में कोई प्रदर्शन नहीं, बल्कि निष्काम सेवा का भाव था। वे हर सेवा को अपना सौभाग्य मानकर निभाती थीं। उनका जीवन न केवल एक साधिका का जीवन था, बल्कि मिशन की आत्मा से जुड़े एक ऐसे तपस्विनी व्यक्तित्व की कहानी है, जो युगों तक स्मरणीय रहेगी। उनका अंतिम संस्कार 13 सितंबर को निगम बोध घाट, दिल्ली में किया गया। उनकी प्रेरणादायी सेवाओं और जीवन को याद करने के लिए निरंकारी मीडिया प्रभारी प्रकाश खेड़ा ने बताया कि सतगुरु माता सुदीक्षा महाराज के आशीर्वाद से, निरंकारी राजपिता रमित की अध्यक्षता में 'प्रेरणा दिवस' का आयोजन 14 सितंबर 2025 को ग्राउंड नंबर 8, बुराड़ी रोड, दिल्ली में किया गया। इस अवसर पर मिशन के संतजन उनके प्रेरणादायी जीवन से सीख लेते हुए श्रद्धासुमन अर्पित किए।

निरंकारी मिशन की उप-प्रधान राज वासदेव ब्रह्मलीन: मिशन को समर्पित रहा पूरा जीवन

काशीपुर, 15 सितंबर 2025 – (रिपोर्ट: समय बोल रहा ) – निरंकारी मिशन की उप-प्रधान और मिशन के इतिहास में एक प्रेरणादायी अध्याय बनी पूजनीय राज वासदेव अब निरंकार प्रभु में ब्रह्मलीन हो गई हैं। 12 सितंबर की देर रात्रि को, उन्होंने अपने गुरु चरणों में सेवा करते हुए अंतिम सांस ली। उनका जीवन त्याग,…

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काशीपुर, 14 सितंबर 2025 - ( समय बोल रहा ) - काशीपुर की प्रतिभाशाली पत्रकार, कवयित्री और समाजसेवी स्वर्गीय अनुश्री भारद्वाज की प्रथम पुण्यतिथि पर उन्हें भावभीनी श्रद्धांजलि दी गई। उनकी समाजसेवी संस्था 'प्रकृति हमारी धरोहर' के तत्वावधान में जसपुर खुर्द स्थित गार्डन में एक श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया गया, जिसमें काशीपुर के सामाजिक, पत्रकारिता और शैक्षणिक जगत के कई गणमान्य व्यक्तियों ने हिस्सा लिया। संघर्ष और सफलता की कहानी अनुश्री भारद्वाज को याद करते हुए, वक्ताओं ने उनके संघर्षशील जीवन और पत्रकारिता तथा साहित्य जगत में उनकी विशिष्ट पहचान बनाने के कठिन परिश्रम पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि अनुश्री ने अपनी प्रतिभा और लगन के बल पर एक मुकाम हासिल किया और वे काशीपुर की बेटियों और बच्चों के लिए हमेशा प्रेरणा बनी रहेंगी। इस अवसर पर, सभी उपस्थित लोगों ने नम आँखों से अनुश्री को श्रद्धासुमन अर्पित किए और उनके योगदान को याद किया। यह सभा न केवल उनके जीवन का सम्मान करने के लिए थी, बल्कि उनके द्वारा किए गए सामाजिक कार्यों को आगे बढ़ाने के संकल्प को दोहराने के लिए भी थी। पत्रकारिता जगत को अपूरणीय क्षति श्रद्धांजलि सभा के दौरान, समाजसेवियों और पत्रकार साथियों ने कहा कि अनुश्री भारद्वाज का असमय जाना काशीपुर की पत्रकारिता जगत के लिए एक अपूरणीय क्षति है। उन्होंने कहा कि अनुश्री जैसी बहुमुखी प्रतिभा को भुलाना संभव नहीं है। उन्होंने सभी से उनकी पुण्यतिथि पर विनम्र श्रद्धांजलि अर्पित करने का आग्रह किया। सभा में उत्तराखंड एथलीट चैंपियन समिति के अध्यक्ष विजेंद्र चौधरी, समाजसेवी एवं पीसीसी सदस्य अलका पाल, काशीपुर मीडिया सेंटर के अध्यक्ष दिलप्रीत सिंह सिटी, श्याम मॉडर्न स्कूल के प्रबंधक अमित शर्मा, समाजसेवी एवं पत्रकार एम. ए. राहुल, पत्रकार जुगनू खान, मोहम्मद शमी, भागीरथ शर्मा, सुनील कोठारी, बकुल डोनाल्ड, हिमांशु ठाकुर, अनुराग भटनागर, अभिषेक बलोदी, चित्रांश सक्सेना सहित अनेक गणमान्य पत्रकार उपस्थित थे। इसके अतिरिक्त, छात्र सेवक जतिन शर्मा, रिंकु बिष्ट, अंचित शर्मा और विभिन्न महाविद्यालयों के छात्र-छात्राओं ने भी अपनी उपस्थिति दर्ज कराकर स्वर्गीय अनुश्री भारद्वाज को श्रद्धासुमन अर्पित किए। इस भावपूर्ण माहौल में, पूरा काशीपुर उन्हें नमन कर रहा था और उनकी स्मृतियों को संजो रहा था।

पत्रकार अनुश्री भारद्वाज को श्रद्धांजलि: काशीपुर में प्रथम पुण्यतिथि पर भावभीनी सभा

काशीपुर, 14 सितंबर 2025 – ( समय बोल रहा ) – काशीपुर की प्रतिभाशाली पत्रकार, कवयित्री और समाजसेवी स्वर्गीय अनुश्री भारद्वाज की प्रथम पुण्यतिथि पर उन्हें भावभीनी श्रद्धांजलि दी गई। उनकी समाजसेवी संस्था ‘प्रकृति हमारी धरोहर’ के तत्वावधान में जसपुर खुर्द स्थित गार्डन में एक श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया गया, जिसमें काशीपुर के सामाजिक,…

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ग्रेटर नोएडा, 13 सितंबर 2025 - ( समय बोल रहा ) - ग्रेटर नोएडा वेस्ट की ऐस सिटी सोसाइटी शनिवार को उस समय सदमे में डूब गई जब एक मां और उसके 11 साल के बेटे ने 13वीं मंजिल से छलांग लगा दी। इस दर्दनाक घटना में दोनों की मौके पर ही मौत हो गई। मृतकों की पहचान 37 वर्षीय साक्षी चावला और उनके बेटे दक्ष चावला के रूप में हुई है। इस घटना ने पूरे सोसाइटी परिसर में मातम और हैरानी का माहौल बना दिया है। क्या हुआ पुलिस की प्रारंभिक जांच के मुताबिक, यह दुखद घटना सुबह करीब 9 बजे हुई। साक्षी के पति दर्पण चावला ने उन्हें बेटे को दवा देने के लिए कहा था। दवा देने के बाद साक्षी बेटे को बालकनी में टहलाने लगीं और कुछ ही देर में दोनों ने 13वीं मंजिल से छलांग लगा दी। सोसाइटी के लोगों ने तुरंत पुलिस को सूचना दी। मौके पर पहुंची पुलिस ने शवों को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेजा। घटना के बाद पूरे परिवार और सोसाइटी में मातम का माहौल है। परिवार के करीबी लोगों के मुताबिक पड़ोसियों और परिवार के करीबी लोगों ने पुलिस को बताया कि साक्षी लंबे समय से तनाव में थीं। वह अक्सर कहती थीं कि उनकी जिंदगी बहुत कठिन हो गई है। उनके बेटे दक्ष की मानसिक हालत ठीक नहीं थी और उसका लंबे समय से इलाज चल रहा था। वह स्कूल भी नहीं जाता था और पूरी तरह से दवाइयों पर निर्भर था। बेटे की बीमारी और इलाज में कोई सुधार न होने से साक्षी लगातार मानसिक दबाव और परेशानी झेल रही थीं, जिसे इस दुखद कदम की वजह माना जा रहा है। पुलिस की जांच जारी पुलिस को मौके से एक सुसाइड नोट भी मिला है, जिसे साक्षी ने अपने पति दर्पण चावला के नाम लिखा था। इस नोट में उन्होंने लिखा है, "हम दुनिया छोड़ रहे हैं… सॉरी। हम तुम्हें अब और परेशान नहीं करना चाहते। हमारी वजह से तुम्हारी जिंदगी खराब न हो। हमारी मौत का जिम्मेदार कोई नहीं है।" एडीसीपी सेंट्रल नोएडा शैव्या गोयल ने बताया कि सुसाइड नोट की लिखावट की जांच के लिए हैंडराइटिंग एक्सपर्ट्स को भेजा गया है। इसके अलावा, पुलिस मामले की जांच हर पहलू से कर रही है ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि कहीं इसके पीछे कोई और वजह तो नहीं है। यह परिवार मूल रूप से उत्तराखंड के नगर पंचायत गढ़ी नेगी का निवासी है। फिलहाल, वे ऐस सिटी सोसाइटी के फ्लैट नंबर E-1309 में रह रहे थे। इस घटना ने पूरे इलाके में एक गहरा सदमा और दुख का माहौल बना दिया है।

ग्रेटर नोएडा में हादसा: उत्तराखंड के नगर पंचायत गढ़ीनेगी के मां-बेटे की मौत

ग्रेटर नोएडा, 13 सितंबर 2025 – ( समय बोल रहा ) – ग्रेटर नोएडा वेस्ट की ऐस सिटी सोसाइटी शनिवार को उस समय सदमे में डूब गई जब एक मां और उसके 11 साल के बेटे ने 13वीं मंजिल से छलांग लगा दी। इस दर्दनाक घटना में दोनों की मौके पर ही मौत हो गई।…

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जसपुर, 13 सितंबर 2025 - ( समय बोल रहा ) - जसपुर के खिलाड़ियों और युवाओं के सपनों को पंख लगाने वाली खेल स्टेडियम परियोजना का निर्माण कार्य न होने से आहत होकर, भाजपा के पूर्व विधायक डॉ. शैलेंद्र मोहन सिंघल ने अपनी ही सरकार के खिलाफ एक अनोखा मोर्चा खोल दिया है। उन्होंने घोषणा की है कि वह 14 सितंबर को क्षेत्र के 551 खिलाड़ियों के साथ मिलकर गांधी पार्क में महात्मा गांधी की प्रतिमा के सामने एक दिवसीय उपवास रखेंगे। यह विरोध प्रदर्शन सुबह 10 बजे से शाम 5 बजे तक चलेगा, जिसका उद्देश्य सरकार का ध्यान इस महत्वपूर्ण और लंबित परियोजना की ओर खींचना है। लंबी प्रतीक्षा और अधूरे वादे शुक्रवार को अपने कार्यालय में आयोजित एक पत्रकार वार्ता में डॉ. सिंघल ने इस मुद्दे की पूरी कहानी बताई। उन्होंने कहा कि यह परियोजना कोई नई नहीं है, बल्कि इसकी मांग और घोषणा 2014 की है। उस समय वह विधायक थे और उनकी मांग पर तत्कालीन मुख्यमंत्री हरीश रावत ने सूत मिल की खाली पड़ी सात एकड़ भूमि में एक भव्य खेल स्टेडियम बनाने की घोषणा की थी। इसी के साथ, स्टेडियम की चारदीवारी के लिए एक करोड़ रुपये की राशि भी अवमुक्त की गई थी। डॉ. सिंघल ने बताया कि उस राशि से दीवार तो बन गई, लेकिन उसके बाद से परियोजना पूरी तरह से ठप्प पड़ी है। इसका मुख्य कारण सिडकुल से खेल विभाग को जमीन का हस्तांतरण न होना है। उन्होंने कहा कि यह एक प्रशासनिक लापरवाही है, जिसके कारण नौ साल से अधिक समय बीत जाने के बाद भी निर्माण कार्य शुरू नहीं हो पाया। सरकार पर वादाखिलाफी का आरोप पूर्व विधायक ने अपनी ही सरकार से इस मुद्दे पर निराशा जाहिर की। उन्होंने कहा कि सत्ता में आने के बाद से उन्होंने कई बार इस विषय में मुख्यमंत्री से लेकर अन्य वरिष्ठ मंत्रियों से बात की, लेकिन कोई नतीजा नहीं निकला। उन्होंने क्षेत्र के सांसद अजय भट्ट से भी इस समस्या को हल करने की मांग की, लेकिन कोई ठोस आश्वासन नहीं मिला। डॉ. सिंघल ने कहा, "यह मेरे लिए व्यक्तिगत निराशा का विषय है। मैंने अपने कार्यकाल में इस परियोजना के लिए अथक प्रयास किए, लेकिन यह देखकर दुख होता है कि अपनी ही सरकार इस वादे को पूरा करने में असफल रही है। हम सरकार का विरोध नहीं कर रहे हैं, बल्कि हम चाहते हैं कि सरकार हमारे युवाओं के सपनों को समझे और इस परियोजना को जल्द से जल्द पूरा करे।" खिलाड़ियों का समर्थन और प्रतीकात्मक उपवास इस विरोध प्रदर्शन में 551 खिलाड़ियों का शामिल होना यह दर्शाता है कि यह मुद्दा कितना महत्वपूर्ण है। यह संख्या प्रतीकात्मक है और खिलाड़ियों के बीच मौजूद आक्रोश और निराशा को दर्शाती है। उपवास का यह कदम गांधीवादी सिद्धांतों पर आधारित है, जो सरकार को शांतिपूर्ण तरीके से अपनी मांग मनवाने के लिए दबाव बनाने का एक तरीका है। यह उपवास केवल एक विरोध प्रदर्शन नहीं, बल्कि जसपुर के खेल समुदाय की आवाज है। यह उम्मीद की जाती है कि यह कदम सरकार को इस परियोजना को गंभीरता से लेने के लिए मजबूर करेगा और जल्द ही इस भूमि का हस्तांतरण कर स्टेडियम का निर्माण कार्य शुरू किया जाएगा, ताकि जसपुर के युवाओं को अपनी प्रतिभा निखारने का अवसर मिल सके।

अपनी ही सरकार के खिलाफ पूर्व विधायक का मोर्चा: जसपुर में खेल स्टेडियम की मांग को लेकर उपवास

जसपुर, 13 सितंबर 2025 – ( समय बोल रहा ) – जसपुर के खिलाड़ियों और युवाओं के सपनों को पंख लगाने वाली खेल स्टेडियम परियोजना का निर्माण कार्य न होने से आहत होकर, भाजपा के पूर्व विधायक डॉ. शैलेंद्र मोहन सिंघल ने अपनी ही सरकार के खिलाफ एक अनोखा मोर्चा खोल दिया है। उन्होंने घोषणा…

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काशीपुर, 12 सितंबर 2025 - (समय बोल रहा ) - उत्तराखंड को 'नशा मुक्त देवभूमि' बनाने के अभियान के तहत, काशीपुर कोतवाली पुलिस ने एक बड़ी सफलता हासिल की है। देर रात गश्त के दौरान पुलिस ने अल्ली खां मोहल्ले के एक युवक को गिरफ्तार किया है, जिसके पास से 8.25 ग्राम स्मैक बरामद हुई है। आरोपी के खिलाफ एनडीपीएस एक्ट (Narcotic Drugs and Psychotropic Substances Act) के तहत गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज कर उसे जेल भेज दिया गया है। यह कार्रवाई न केवल पुलिस की सतर्कता को दर्शाती है, बल्कि क्षेत्र में नशे के बढ़ते कारोबार पर लगाम लगाने के लिए चलाए जा रहे अभियान को भी मजबूती देती है। पुलिस की सतर्कता और सफल ऑपरेशन यह घटना गुरुवार देर रात की है, जब काशीपुर के उप-निरीक्षक मनोज धोनी अपनी टीम के साथ क्षेत्र में गश्त पर थे। पुलिस को लंबे समय से इस क्षेत्र में नशे के अवैध कारोबार की सूचना मिल रही थी। इसी सूचना के आधार पर पुलिस की टीम विशेष रूप से चौकस थी। रात के सन्नाटे में, पुलिस की नजर डिजाइन सेंटर के पास एक बाइक सवार युवक पर पड़ी, जिसकी गतिविधियां संदिग्ध लग रही थीं। पुलिस ने उसे रुकने का इशारा किया। पुलिस को देखते ही युवक ने भागने की कोशिश की, लेकिन टीम ने मुस्तैदी दिखाते हुए उसे धर दबोचा। पुलिस द्वारा तलाशी लेने पर युवक के कब्जे से एक प्लास्टिक की पुड़िया बरामद हुई, जिसमें 8.25 ग्राम स्मैक थी। यह मात्रा एनडीपीएस एक्ट के तहत वाणिज्यिक मात्रा के दायरे में आती है, जिससे आरोपी पर लगाई गई धाराएं और भी सख्त हो जाती हैं। पूछताछ के दौरान, आरोपी ने अपना नाम आमिर खान बताया, जो अल्ली खां मोहल्ले का निवासी है। पुलिस अब इस बात की जांच कर रही है कि आमिर कहां से स्मैक खरीदता था और किन लोगों को बेचता था। एनडीपीएस एक्ट के तहत सख्त कार्रवाई पुलिस ने तत्काल आरोपी आमिर खान के खिलाफ एनडीपीएस एक्ट की धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज कर लिया है। एनडीपीएस एक्ट के तहत ड्रग्स की मात्रा के आधार पर सजा का प्रावधान है। कम मात्रा के लिए कम सजा होती है, जबकि वाणिज्यिक मात्रा के लिए 10 साल से लेकर 20 साल तक की जेल और भारी जुर्माना हो सकता है। 8.25 ग्राम की मात्रा को देखते हुए, आरोपी को एक लंबी सजा का सामना करना पड़ सकता है। यह कार्रवाई उन लोगों के लिए एक सख्त संदेश है जो युवाओं को नशे की लत में धकेलकर समाज को खोखला कर रहे हैं। पुलिस का कहना है कि यह कार्रवाई नशे के खिलाफ उनके ज़ीरो टॉलरेंस की नीति का हिस्सा है। पिछले कुछ महीनों में पुलिस ने कई नशा तस्करों को गिरफ्तार किया है और इस तरह के अवैध धंधे में शामिल कई गिरोहों का भंडाफोड़ किया है। पुलिस का यह अभियान लगातार जारी रहेगा और इसमें आम जनता से भी सहयोग की अपील की गई है, ताकि नशे के जाल को पूरी तरह से खत्म किया जा सके। काशीपुर शहर में युवाओं में नशे की लत एक बड़ी समस्या बनती जा रही है, और इस तरह की गिरफ्तारियां पुलिस के प्रयासों को दर्शाती हैं। यह उम्मीद की जाती है कि यह कार्रवाई न केवल नशा तस्करों के बीच डर पैदा करेगी, बल्कि युवाओं को भी नशे से दूर रहने के लिए प्रेरित करेगी।

नशे के खिलाफ पुलिस की बड़ी कार्रवाई: काशीपुर में 8.25 ग्राम स्मैक के साथ अल्ली खां का युवक गिरफ्तार

काशीपुर, 12 सितंबर 2025 – (समय बोल रहा ) – उत्तराखंड को ‘नशा मुक्त देवभूमि’ बनाने के अभियान के तहत, काशीपुर कोतवाली पुलिस ने एक बड़ी सफलता हासिल की है। देर रात गश्त के दौरान पुलिस ने अल्ली खां मोहल्ले के एक युवक को गिरफ्तार किया है, जिसके पास से 8.25 ग्राम स्मैक बरामद हुई…

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रुद्रपुर, 11 सितंबर 2025 – (समय बोल रहा) – जिलाधिकारी श्री नितिन सिंह भदौरिया ने आज कैंप कार्यालय में एक महत्वपूर्ण बैठक की अध्यक्षता की। इस बैठक का मुख्य उद्देश्य जिले में रेलवे विभाग से संबंधित विभिन्न लंबित परियोजनाओं की गहन समीक्षा करना था। बैठक में जिलाधिकारी ने परियोजनाओं की धीमी गति पर कड़ी नाराजगी व्यक्त की और संबंधित विभागों को जनहित को ध्यान में रखते हुए कार्यों में तेजी लाने के निर्देश दिए। यह बैठक इसलिए भी महत्वपूर्ण थी क्योंकि इसमें स्थानीय अधिकारियों के साथ-साथ रेलवे और राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NH) के अधिकारी भी शामिल हुए, जिनमें से कई वर्चुअल माध्यम से जुड़े। काशीपुर-रामनगर आरओबी पर कड़ा रुख जिलाधिकारी ने विशेष रूप से काशीपुर-रामनगर आरओबी (रेलवे ओवर ब्रिज) के निर्माण कार्य की धीमी प्रगति पर अपनी नाराजगी व्यक्त की। उन्होंने राष्ट्रीय राजमार्ग (एनएच) के अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिए कि वे इस परियोजना में तुरंत तेजी लाएं और कार्य को जल्द से जल्द पूरा करना सुनिश्चित करें। उन्होंने कहा कि यह परियोजना जनता के लिए बेहद महत्वपूर्ण है और इसकी गति में किसी भी तरह की ढिलाई बर्दाश्त नहीं की जाएगी। इसके साथ ही, उन्होंने उप जिलाधिकारी काशीपुर को निर्देश दिया कि वे इस आरओबी निर्माण कार्य की व्यक्तिगत रूप से निगरानी करें और प्रतिदिन की प्रगति रिपोर्ट सीधे जिलाधिकारी कार्यालय को भेजें। बैठक में सड़क की गुणवत्ता का मुद्दा भी उठा। जिलाधिकारी ने अधिकारियों को सर्विस रोड के कार्यों को दो दिन के भीतर पूरा करने का निर्देश दिया और कहा कि सभी सड़कों को गड्ढामुक्त किया जाए। उन्होंने जोर देकर कहा कि सड़कों की खराब हालत से जनता को परेशानी होती है, इसलिए इस पर तत्काल ध्यान दिया जाए। प्रमुख परियोजनाओं पर दिए निर्देश बैठक में कई अन्य महत्वपूर्ण परियोजनाओं पर भी चर्चा हुई और उनके समाधान के लिए ठोस निर्देश दिए गए: काशीपुर में प्रिया मॉल के पास अंडरपास: जिलाधिकारी ने अपर जिलाधिकारी और उप जिलाधिकारी काशीपुर को रेलवे अधिकारियों के साथ संयुक्त रूप से निरीक्षण कर प्रिया मॉल के पास रेलवे क्रासिंग पर अंडरपास बनाए जाने की संभावना पर रिपोर्ट देने को कहा। काशीपुर रेलवे स्टेशन पर जलभराव: इस गंभीर समस्या के समाधान के लिए उप जिलाधिकारी, अधिशासी अभियंता सिंचाई, लोनिवि (PWD) और नगर आयुक्त काशीपुर को एक संयुक्त सर्वे कर कार्य योजना प्रस्तुत करने का निर्देश दिया गया। बाजपुर में आरओबी: बाजपुर रेलवे क्रासिंग पर आरओबी निर्माण के लिए राष्ट्रीय राजमार्ग के अधिकारियों को उप जिलाधिकारी बाजपुर और रेलवे विभाग के अधिकारियों के साथ मिलकर प्रस्ताव तैयार करने को कहा गया। भूरारानी, रुद्रपुर में अंडरपास: जिलाधिकारी ने रेलवे अधिकारियों को भूरारानी, रुद्रपुर में निर्माणाधीन अंडरपास के कार्यों में तेजी लाने और उसे जल्द पूरा करने के निर्देश दिए। छतरपुर-मटकोटा मोटर मार्ग पर आरओबी: एनएच, लोनिवि और रेलवे विभाग के अधिकारियों को इस मार्ग पर आरओबी निर्माण के लिए कार्ययोजना बनाकर कार्यवाही करने के लिए कहा गया। अतिक्रमण और जनहित का मुद्दा जिलाधिकारी ने रेलवे विभाग को जनहित को सर्वोपरि रखने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि सभी कार्य इस तरह से किए जाएं कि आम जनता को कम से कम असुविधा हो। इसके अलावा, उन्होंने रेलवे की भूमि पर हुए अतिक्रमण को लेकर भी सख्त रुख अपनाया। उन्होंने निर्देश दिया कि रेलवे और राजस्व विभाग संयुक्त रूप से निरीक्षण कर ऐसे सभी अतिक्रमणों को तुरंत हटाएं। खटीमा से मझोला के बीच रेलवे फाटक को खोलने के संबंध में भी चर्चा हुई। जिलाधिकारी ने उप जिलाधिकारी खटीमा और रेलवे अधिकारियों को मौके का निरीक्षण कर वहां रहने वाले लोगों की आवाजाही को ध्यान में रखते हुए एक विस्तृत रिपोर्ट प्रस्तुत करने का निर्देश दिया। उन्होंने चकरपुर खटीमा में अंडरपास में पानी के रिसाव को 15 अक्टूबर तक ठीक करने का भी समयबद्ध निर्देश दिया। बैठक में उपस्थित अधिकारीगण बैठक में प्रभागीय वनाधिकारी यूसी तिवारी, अपर जिलाधिकारी पंकज उपाध्याय, कौस्तुभ मिश्र, उप जिलाधिकारी मनीष बिष्ट, गौरव पाण्डेय, अभय प्रताप सिंह, तुषार सैनी, सीनियर सेक्शन इंजिनियर रेलवे काशीपुर यशवंत मीना, अखिलेश कुमार सहित अन्य अधिकारीगण मौजूद थे। डीआरएम इज्जतनगर भारत भूषण, उप जिलाधिकारी बाजपुर, पीडी एनएचएआई (NHAI) और अन्य संबंधित अधिकारी वर्चुअल माध्यम से इस बैठक में शामिल हुए। जिलाधिकारी ने सभी अधिकारियों को कार्यों में समन्वय बनाए रखने और जनता की समस्याओं को प्राथमिकता से हल करने की अपील की।

रुद्रपुर: जिलाधिकारी ने रेलवे परियोजनाओं की समीक्षा की, धीमी गति पर जताई नाराजगी

रुद्रपुर, 11 सितंबर 2025 – (समय बोल रहा) – जिलाधिकारी श्री नितिन सिंह भदौरिया ने आज कैंप कार्यालय में एक महत्वपूर्ण बैठक की अध्यक्षता की। इस बैठक का मुख्य उद्देश्य जिले में रेलवे विभाग से संबंधित विभिन्न लंबित परियोजनाओं की गहन समीक्षा करना था। बैठक में जिलाधिकारी ने परियोजनाओं की धीमी गति पर कड़ी नाराजगी…

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नई दिल्ली, 09 सितंबर 2025 – (समय बोल रहा ) – आज के उपराष्ट्रपति चुनाव में एनडीए उम्मीदवार श्री सी.पी. राधाकृष्णन ने एक निर्णायक जीत हासिल कर देश के अगले उपराष्ट्रपति का पद संभाल लिया है। इस चुनाव में उन्होंने विपक्षी उम्मीदवार बी. सुदर्शन रेड्डी को बड़े अंतर से हराया, जिससे संसद में सत्ताधारी गठबंधन की मजबूत पकड़ एक बार फिर साबित हो गई है। यह जीत एनडीए के लिए एक महत्वपूर्ण राजनीतिक उपलब्धि मानी जा रही है, क्योंकि यह राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति जैसे सर्वोच्च संवैधानिक पदों पर उसकी स्थिति को और मजबूत करती है। जीत के आंकड़े और राजनीतिक संदेश सुबह से शुरू हुई मतदान प्रक्रिया शाम तक जारी रही, जिसमें कुल 767 वोट डाले गए। इनमें से 752 वोट वैध पाए गए, जबकि 15 वोट अवैध घोषित कर दिए गए। मतदान के बाद हुई मतगणना में, एनडीए के प्रत्याशी सी.पी. राधाकृष्णन को 452 वोट मिले, जबकि विपक्षी उम्मीदवार बी. सुदर्शन रेड्डी को 300 वोटों से संतोष करना पड़ा। वोटों का यह अंतर स्पष्ट रूप से दर्शाता है कि एनडीए का समर्थन आधार संसद में कितना व्यापक और संगठित है। राधाकृष्णन की 452 वोटों की संख्या एनडीए के एकजुट वोट बैंक को दर्शाती है, जिसमें लोकसभा और राज्यसभा के सांसद शामिल थे। इस जीत ने न केवल उनकी व्यक्तिगत योग्यता को प्रमाणित किया है, बल्कि यह भी दिखाया है कि सत्ताधारी गठबंधन के पास महत्वपूर्ण विधायी निर्णयों को लागू करने के लिए आवश्यक संख्या बल मौजूद है। दूसरी ओर, विपक्षी उम्मीदवार बी. सुदर्शन रेड्डी को मिले 300 वोट भी कम महत्वपूर्ण नहीं हैं। यह संख्या दिखाती है कि विपक्षी एकता अभी भी एक महत्वपूर्ण ताकत है और वह सरकार की नीतियों का विरोध करने और जनता के मुद्दों को उठाने के लिए पर्याप्त संख्या में सांसद जुटा सकती है। यह भविष्य में होने वाले विधायी और राजनीतिक संघर्षों के लिए एक संकेत है कि विपक्ष अपनी आवाज को सशक्त बनाए रखने के लिए तैयार है। राष्ट्रीय राजनीति पर प्रभाव उपराष्ट्रपति के रूप में सी.पी. राधाकृष्णन की जीत से आने वाले समय में राष्ट्रीय राजनीति पर कई तरह के प्रभाव पड़ने की उम्मीद है। उपराष्ट्रपति राज्यसभा के पदेन सभापति होते हैं। इस पद पर एनडीए के एक उम्मीदवार का होना सरकार के लिए विधायी प्रक्रिया को सुचारू रूप से चलाने में सहायक होगा, खासकर जब राज्यसभा में बिल पास करने की बात आती है। यह सरकार को अपने एजेंडे को आगे बढ़ाने में मदद करेगा और महत्वपूर्ण सुधारों को लागू करने में आने वाली बाधाओं को कम कर सकता है। राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि यह चुनाव परिणाम 2024 के लोकसभा चुनाव के बाद सत्ताधारी गठबंधन के मजबूत जनादेश की पुष्टि करता है। यह दिखाता है कि गठबंधन का विश्वास और समर्थन अभी भी बरकरार है। यह जीत एनडीए के लिए एक बड़ी उपलब्धि है और इससे भविष्य में होने वाले अन्य चुनावों में भी उसके मनोबल को मजबूती मिलेगी। सी.पी. राधाकृष्णन अपनी जीत के बाद मीडिया के सामने आए और उन्होंने सभी सांसदों का आभार व्यक्त किया, जिन्होंने उन्हें वोट दिया। उन्होंने कहा कि वह संवैधानिक मूल्यों को बनाए रखने और उपराष्ट्रपति पद की गरिमा के अनुसार कार्य करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। उन्होंने विपक्ष को भी साथ लेकर चलने की बात कही और कहा कि वे सभी दलों के साथ मिलकर देश के विकास के लिए काम करेंगे। यह चुनाव केवल एक पद की जीत नहीं है, बल्कि भारतीय लोकतंत्र में सत्ता और विपक्ष के बीच शक्ति संतुलन का एक महत्वपूर्ण संकेतक भी है। भले ही विपक्ष इस चुनाव में सफल न हो पाया हो, लेकिन उनके वोटों की संख्या ने यह संदेश दिया है कि भारतीय लोकतंत्र में उनका भी महत्वपूर्ण स्थान है और वे लगातार अपनी भूमिका निभाते रहेंगे।

उपराष्ट्रपति चुनाव: एनडीए के सी.पी. राधाकृष्णन ने 452 वोटों से जीत दर्ज की, विपक्ष के बी. सुदर्शन रेड्डी को हराया

नई दिल्ली, 09 सितंबर 2025 – (समय बोल रहा ) – आज के उपराष्ट्रपति चुनाव में एनडीए उम्मीदवार श्री सी.पी. राधाकृष्णन ने एक निर्णायक जीत हासिल कर देश के अगले उपराष्ट्रपति का पद संभाल लिया है। इस चुनाव में उन्होंने विपक्षी उम्मीदवार बी. सुदर्शन रेड्डी को बड़े अंतर से हराया, जिससे संसद में सत्ताधारी गठबंधन…

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काशीपुर, 09 सितंबर 2025 – (समय बोल रहा) – उत्तराखंड के मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी आज काशीपुर के ऐतिहासिक ननकाना साहिब बड़ा गुरुद्वारा पहुंचे। उन्होंने मत्था टेककर प्रदेश की सुख-समृद्धि और खुशहाली की कामना की। यह दौरा गुरु तेग बहादुर जी के 350वें शहीदी दिवस के अवसर पर आयोजित नगर कीर्तन (पदयात्रा) के स्वागत के लिए था। मुख्यमंत्री ने नगर कीर्तन में आए सभी संगत सदस्यों और उपस्थित महानुभावों का देवभूमि उत्तराखंड के समस्त नागरिकों की ओर से हार्दिक स्वागत और अभिनंदन किया। मुख्यमंत्री ने अपने संबोधन में कहा कि यह उनका सौभाग्य है कि उन्हें गुरु तेग बहादुर जी के 350वें शहीदी दिवस के पावन अवसर पर इस शहीदी नगर कीर्तन यात्रा की संगत का हिस्सा बनने का अवसर मिला। उन्होंने इस यात्रा को "केवल एक नगर कीर्तन यात्रा नहीं, बल्कि आस्था, एकता और गुरु साहिब के संदेश को जन-जन तक पहुंचाने का पवित्र अभियान" बताया। यह यात्रा असम के श्री धोबड़ी साहिब से शुरू होकर विभिन्न राज्यों से होते हुए लगभग 2500 किलोमीटर का सफर तय कर श्री आनंदपुर साहिब में पूर्ण होगी। गुरु तेग बहादुर जी का अतुल्य बलिदान श्री धामी ने गुरु तेग बहादुर जी के जीवन पर प्रकाश डालते हुए उनके अतुल्य बलिदान को याद किया। उन्होंने कहा कि गुरु तेग बहादुर जी ने उस संकटपूर्ण कालखंड में अपने प्राणों की आहुति दी, जब हमारे देश की संस्कृति, धर्म और आत्मसम्मान पर गंभीर खतरा मंडरा रहा था। उन्होंने बताया कि मात्र 14 वर्ष की अल्पायु में ही गुरु जी ने मुगलों के खिलाफ युद्ध में अद्वितीय वीरता का परिचय दिया, जिससे प्रभावित होकर उनके पिता ने उनका नाम "तेग बहादुर" यानी "तलवार का धनी" रखा था। उन्होंने कहा कि गुरु तेग बहादुर जी ने कश्मीरी पंडितों पर हो रहे अत्याचार के खिलाफ आवाज बुलंद करते हुए औरंगजेब के षड्यंत्र का सामना किया। उन्हें "हिंद दी चादर" कहकर सम्मानित किया, जिन्होंने धर्म की रक्षा के लिए अपना शीश दे दिया, लेकिन सिर नहीं झुकाया। सिख समाज के लिए पीएम मोदी की पहल मुख्यमंत्री धामी ने प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व की सराहना करते हुए कहा कि पीएम मोदी ने सिख समाज की बहुत सी मांगों को पूरा करने का कार्य किया है। उन्होंने करतारपुर साहिब कॉरिडोर का निर्माण, लंगर से सभी करों को हटाना, श्री हरमंदिर साहिब को एफसीआरए पंजीकरण की स्वीकृति देना, वीर बाल दिवस की घोषणा और 1984 के दंगों के पीड़ितों को न्याय दिलाने जैसी कई महत्वपूर्ण पहलों का उल्लेख किया। उन्होंने यह भी बताया कि पीएम मोदी के सहयोग से गोविंद घाट से हेमकुंड साहिब तक 12.5 किलोमीटर लंबे रोपवे का निर्माण किया जा रहा है, जिससे श्रद्धालुओं की यात्रा सिर्फ 45 मिनट में पूरी हो सकेगी। उत्तराखंड के विकास का रोडमैप और सरकार की नीतियां मुख्यमंत्री ने उत्तराखंड को देश का अग्रणी राज्य बनाने के लिए अपनी सरकार के प्रयासों का भी जिक्र किया। उन्होंने कहा कि उनकी सरकार ने राज्य हित में कई ऐतिहासिक निर्णय लिए हैं, जैसे देश में सबसे पहले समान नागरिक संहिता को लागू करना, और सबसे प्रभावी नकल विरोधी कानून लाना, जिससे पिछले साढ़े तीन वर्षों में 24 हजार से अधिक युवाओं को सरकारी नौकरियां मिली हैं। उन्होंने 'लैंड जिहाद' पर कड़ी कार्रवाई करते हुए 9 हजार एकड़ से अधिक सरकारी भूमि को मुक्त कराने का भी उल्लेख किया। इसके अलावा, उन्होंने 250 से अधिक अवैध मदरसों को सील करने और मदरसा बोर्ड को समाप्त करने के निर्णय के बारे में भी बताया। आर्थिक विकास के मोर्चे पर, मुख्यमंत्री ने ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट 2023 की सफलता का जिक्र किया, जिसमें 3.56 लाख करोड़ रुपए के निवेश समझौते हुए। उन्होंने कहा कि ईज ऑफ डूइंग बिजनेस में उत्तराखंड को 'अचीवर्स' की श्रेणी मिली है, और सतत विकास लक्ष्यों को हासिल करने के इंडेक्स में राज्य ने देश में पहला स्थान प्राप्त किया है। उन्होंने लोगों से 'स्वदेशी अपनाओ, देश को मजबूत बनाओ' के मंत्र को अपनाने का आग्रह किया। इस अवसर पर, विधायक त्रिलोक सिंह चीमा, मेयर दीपक बाली, दर्जा राज्यमंत्री अनिल कपूर डब्बू और फरजाना बेगम, पूर्व विधायक हरभजन सिंह चीमा, जिलाध्यक्ष मनोज पाल सहित कई प्रमुख जनप्रतिनिधि और अधिकारीगण उपस्थित थे। मुख्यमंत्री ने कहा कि इस तरह के संवाद कार्यक्रमों की शुरुआत काशीपुर से हुई है, जो अब पूरे प्रदेश में चलाया जाएगा।

सीएम धामी का काशीपुर दौरा: ननकाना साहिब गुरुद्वारे में मत्था टेका, गुरु तेग बहादुर जी के बलिदान को किया नमन

काशीपुर, 09 सितंबर 2025 – (समय बोल रहा) – उत्तराखंड के मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी आज काशीपुर के ऐतिहासिक ननकाना साहिब बड़ा गुरुद्वारा पहुंचे। उन्होंने मत्था टेककर प्रदेश की सुख-समृद्धि और खुशहाली की कामना की। यह दौरा गुरु तेग बहादुर जी के 350वें शहीदी दिवस के अवसर पर आयोजित नगर कीर्तन (पदयात्रा) के स्वागत…

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